Incest-चुदासी फैमिली complete
- Ankit
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Re: Incest-चुदासी फैमिली
Super Hit kahani rahegi mitr plz continue
- Sexi Rebel
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Re: Incest-चुदासी फैमिली
Mitr bahut hi khubsoorat
- Rohit Kapoor
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- Joined: 16 Mar 2015 19:16
Re: Incest-चुदासी फैमिली
Thanks to all
Read my all stories
(संयोग का सुहाग)....(भाई की जवानी Complete)........(खाला जमीला running)......(याराना complete)....
(संयोग का सुहाग)....(भाई की जवानी Complete)........(खाला जमीला running)......(याराना complete)....
- Rohit Kapoor
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- Joined: 16 Mar 2015 19:16
Re: Incest-चुदासी फैमिली
कॉलेज आने के बाद वह मुझे बाइ करके जाने लगी और में बाइक पर खड़ा उसे जाते हुए देखने लगा उसकी गोरी गोरी टाँगे और गुदाज
भरी हुई जांघे और उस पर भारी मोटे मोटे मटकते चुतड़ों को देखते हुए में अपने लंड को धीरे धीरे मसल रहा था तभी
सुधा ने पीछे मूड कर मुझे अपनी गुदाज मोटी गान्ड को घूरते हुए पाया और एक कातिल सी स्माइल दे कर अंदर चली गई,
जब घर पहुचा तो सोनू अंदर आई और आते ही मेरी पॅंट खोलने लगी
रोहित : क्या हुआ रानी पॅंट क्यो उतार रही हो अभी लंड लेने का इरादा है
सोनू : मुस्कुराते हुए, अरे रूको तो चलो चड्डी नीचे करके अपने लंड को बाहर निकालो, इतना कह कर सोनू ने खुद ही लंड चड्डी
से बाहर निकल लिया जिसमे अभी भी अकड़न बाकी थी, सोनू ने टोपे को खोल कर लंड को दबाया और उसमे से पानी की दो तीन बूंदे
निकल आई
सोनू ने मेरी और मुस्कुरा कर देखा और पानी की बूँदो को अपनी उंगलिओ में लेकर मसल्ते हुए कहने लगी
सोनू : रास्ते भर खड़ा था क्या तुम्हारा लंड
रोहित : मतलब
सोनू : ज़्यादा बनो मत सुधा की गर्मी पाकर ही पिघला है ना यह
रोहित : अरे तुम भी ना बस एक ही चीज़ तुम्हारे दिमाग़ में चलती रहती है
सोनू : मेरे लंड को सहलाते हुए, कहने लगी खूब मोटी और गदराई हुई जांघे है ना तुम्हारी बहन की
रोहित : मंद मंद मुस्कुराते हुए हुउँ,
सोनू : लंड को कस कर दबाते हुए, अरे जब अपनी बहन की मोटी गुदाज जांघे देख कर तुम्हारे इन महराज के यह हाल है तो जब
अपनी बहन की मस्त फूली हुई मोटी मोटी फांको वाली चिकनी चूत देखोगे तो फिर क्या हाल होगा
रोहित : तुम तो ऐसे कह रही हो जैसे वह आकर मुझे अपनी चूत दिखाने वाली है
सोनू : मुस्कुराते हुए बड़ा मन कर रहा है अपनी बहन की मस्त फूली चूत देखने का, कहो तो दिखवा दूं
सोनू की बात सुन कर मैने उसकी गान्ड को साड़ी के उपर से सहलाते हुए मुस्कुरा कर कहा , केवल चूत देखने भर से क्या होगा
सोनू : मुस्कुरा कर अच्छा जी बात यहा तक आ पहुचि है कि अब आप अपनी बहन को चोदना भी चाहते हो, तभी तो कहूँ कि आजकल
उसका नाम लेते ही ये लंड महराज ऐसे झटके क्यो मारने लगते है, हम बात ही कर रहे थे कि बाहर से मम्मी की आवाज़ आई जो कि
सोनू को बुला रही थी,
सोनू : झल्लाते हुए, ये तुम्हारी माँ की चूत में भी बड़ी खुजली मची रहती है ज़रा भी दम नही लेती है, और फिर सोनू वही
बैठी बैठी चिल्लाई......आई...... माँ जी....
नीलम हेवी डील डोल, बड़ा सा पेट काफ़ी उभरा हुआ बीच में साल और फिर गहरी नाभि साड़ी दो इंच नीचे मोटे मोटे खरबूजो से
दूध स्लीवलेस चोली में और मोटी मोटी केले के खंबो जैसी तनो जाँघो के उपर बहुत भारी और सुडोल चूतड़ मटकाते हुए,
नीलम : अरे बहू ज़रा देख आज कितने दिनो बाद मैने साड़ी पहनी है कैसी लग रही हूँ,
सोनू: मम्मी अच्छी तो लग रही हैं लेकिन आपके बदन पर तो टाइट चिपकी हुई लेग्गी या फिर कसा हुआ जीन्स ही ज़यादा अच्छा लगता है
पर वैसे साड़ी जब आप पहनती है तो इसे नाभि से थोड़ा और नीचे रखा कीजिए तब यह आप पर और भी अच्छी लगती है, और फिर नीलम
ने अपनी साड़ी को नाभि के और भी नीचे सरकते
हुए अपने गदराए पेट को मसल्ते हुए कहा, आज तो पेट भी खराब लग रहा है ज़रा चाइ पिला दे तो शायद कुछ आराम मिले,
सोनू : माजी गॅस बन रही होगी और चाइ से तो और भी गॅस बनेगी
नीलम अरे नही रे, चाइ पीकर ज़रा फ्रेश हो आती हूँ शायद राहत मिले, सोनू का खुराफाती दिमाग़ तो था ही वह अपने मन में
मुस्कुराती हुई सोचने लगी, माजी कहीं पापा जी से गान्ड तो नही मरवाती हो, तभी तुम्हारी गान्ड में खुजली मची रहती है, पर
पापा जी अब इस उमर में तुम्हारी गान्ड क्या मारते होंगे, तुम्हारी इस मोटी घोड़ी जैसी गान्ड में तो कोई बड़ा सा लंड चाहिए जो तुम्हे
कस कस कर चोदे,
नीलम : अरे घोड़ी अब खड़ी खड़ी क्या सोचने लगी
सोनू : मुस्कुरा कर कुछ नही माजी आपका इलाज कैसे करूँ यही सोच रही थी, में अभी चाइ लेकर आती हूँ, और फिर सोनू भागते
हुए मेरे पास आई और पूछने लगी क्योजी आप चाइ पियोगे क्या, मैने कहा पिला दो,
सोनू: अच्छा एक बात पुंच्छू
रोहित : क्या
सोनू : अगर तुम्हे कोई अच्छी मोटी तगड़ी गान्ड मारने को मिले तो मारोगे कि नही
में सोनू की बात सुन कर मुस्कुराते हुए, कहने लगा डार्लिंग तुम्हारी गान्ड मारता तो हूँ और कौन सी गान्ड का जुगाड़ है
सोनू : अगर तुम्हे खूब मोटे मोटे चुतड़ों में अपना मूसल डाल कर कूटना हो तो बोलो
रोहित : बताओ तो सही किसके चुतड़ों की बात कर रही हो
सोनू : अभी नही बताउन्गी, अगर बता दिया तो पानी छोड़ दोगे
रोहित : ऐसे किसके चूतड़ है जिनका नाम सुनते ही में पानी छोड़ दूँगा
सोनू: में चाइ बना कर लाती हूँ फिर बाद में बताउन्गी तुम्हे
सोनू इतना कह कर चली गई और मेरा लंड उसकी बातों से ही खड़ा हो गया था, में तो उसकी बाते सुन कर यही समझ रहा था कि
वह ज़रूर सुधा की मोटी गान्ड की बात कर रही होगी, इसीलिए मेरे लंड में अपनी बहन की गान्ड को सोच कर ताव आ गया था,
शाम को माँ पार्क में घूमने गई हुई थी और सुधा सोनू के साथ रूम में बैठी थी दोनो कुछ बाते कर रही थी, मैने अपने मोबाइल
को साइलेंट मोड पर करके और ऑडियो रेकॉर्डिंग ऑन कर दी और मोबाइल को वही रूम पर रख कर बाहर आ गया, करीब 1 घंटे बाद
सोनू बालकनी में आई और कहने लगी चलो पार्क में बैठेंगे, मैने कहा, ठीक है तो वह कहने लगी फिकर मत करो आज तो माजी
भी पार्क में घूमने गई है और सुधा भी चल रही है,
मैने कहा ठीक है चलो और में रूम में जाकर अपना मोबाइल लेकर आ गया और फिर सुधा और सोनू घूमने लगी और मैं मोबाइल
कान से लगा कर वह ऑडियो रेकॉर्डिंग सुनने लगा, सोनू काली साड़ी में अपने गुदाज चुतड़ों को मटका मटका कर मेरे सामने से निकलती
और जानबूझ कर जब मेरे सामने से जाती तो अपनी गान्ड को खुजलाने लगती और मुझे देख देख कर मुस्कुराने लगती, में उसके चुतड़ों
को घूरते हुए फिर अपनी बहन सुधा की भारी गान्ड देखने लगता, सुधा जीन्स फसा कर घूम रही थी और उसमे उसकी जांघे खूब
दबोचने लायक लग रही थी और गान्ड का भारी उठाव और चौड़ाई देख कर तो मेरा लंड फटा जा रहा था,
अभी दो ही राउंड उन्होने लगाए होंगे कि सोनू सुधा को छोड़ कर मेरे पास आई और मेरे कान में धीरे से कहने लगी, आज तो जीन्स में तुम्हारी बहन की गान्ड खूब मोटी नज़र आ रही है, आज में उसको खूब चक्कर लगवाउंगी तुम आराम से जी भर कर अपनी प्यारी बहन की गुदाज जवानी
और मोटी गान्ड का आनंद लो, में मुस्कुराते हुए कहा ठीक है,
तो सोनू ने मेरे गालो को खींचते हुए कहा, में जानती हूँ आज रात को तुम मुझे खूब कस कस कर चोदने वाले हो और मेरी गान्ड और चूत लाल कर दोगे, उसके बाद सोनू फिर से सुधा के साथ घूमने लगी,
सोनू जानती थी कि में अपनी बहन सुधा के भारी चुतड़ों को जब भी जीभर कर देखता हूँ तो रात को सोनू को चोदते हुए यही सोच
सोच कर सोनू की गान्ड और चूत मारता हूँ जैसे कि में अपनी जवान रसीली बहन सुधा को चोद रहा हूँ, मैने इधर उधर देखा तो माँ
थोड़ी दूर किसी आंटी के साथ पार्क में बैठ कर बाते कर रही थी, मैने ऑडियो सुनना शुरू किया, ऑडियो में सोनू कह रही थी .
सोनू : क्यो ननद रानी आज कल रात को देर तक तुम्हारे कमरे की बत्ती जलती रहती है, कही कोई लंडा तो नही फसा लिया जिससे फोन
पर बतियाती रहती हो
सुधा : मुस्कुराते हुए क्या भाभी आप भी ना बस ले देकर एक ही बात पर आडी रहती हो अरे बाबा मेरा किसी लड़के से कोई अफेर नही है
सोनू : अच्छा जी पर तुम्हारी जवानी, ये भारी भारी जांघे चौड़े और उठे हुए चुतड़ों और फिर सुधा के बोबे को मसल्ते हुए, इन मोटे मोटे गुदाज दूध को देख कर तो बच्चो और बुढ्ढो के मन में भी तुंझे नंगी करके देखने और सहलाने का ख्याल आ जाता होगा, फिर जवान लोंडो की तो बात ही अलग है
सुधा : मुस्कुराते हुए, क्यो जवान लोंडो में ऐसा क्या है
सोनू : हे सुधा तुझे क्या पता जवान और मोटा तगड़ा लंड कितना मज़ा देता है
सुधा : चुप करो भाभी कितनी साफ भाषा में बात करती हो कोई सुन लेगा तो
सोनू : अरे नंद रानी तू नही जानती जब मोटा मोटा काला डंडा यहाँ घुसता है तो कितना मज़ा देता है और उपर से तेरे भैया का लंड तो पूरा मूसल है वो जब मुझे नंगी करके चोदते है
सुधा : हूँ
सोनू : क्या बात है कहाँ खो गई
सुधा : आह भाभी अपनी कोहनी हटाओ ना मेरी जाँघो से
सोनू : अहह हहा ननद रानी ऐसे क्यो सीसीया रही हो कही किसी ने सुन लिया तो सोच में पड़ जाएगा कि ननद भाभी में इतनी सीसीयाहट कैसे आ रही है
सुधा : भाभी आप कभी खुराफाती बातों के अलावा भी कुछ सोचती है,
सोनू : हँसते हुए, में तो जब से जानने समझने लायक हुई हूँ तब से सिवाय चूत लंड के मुझे कोई बात अच्छी ही नही लगती है
सुधा : अच्छा तो जब आपकी शादी नही हुई थी तब यह सब बाते किससे करती थी
सोनू : अपनी सहेली सपना से मेरी सबसे खास दोस्त है वो, तू नही जानती उसने तो शादी के पहले भी कई बार मेरा पानी निकाला है
सुधा : अश्चर्य से देखती हुई, क्या बात कर रही हो भाभी
सोनू : सच्ची, आज भी मिलती है तो, बिना मेरी चूत सहलाए मानती ही नही है
सुधा : में तो समझती थी कि यह सब नेट पर और मूवी पर ही ऐसा होता है पर क्या सचमुच दो औरते भी ऐसा करती है
सोनू : अब ज़्यादा बन मत इतनी बड़ी घोड़ी हो गई है कि आज छोड़ो तो कल माँ बन जाए, और नखरा देखो कि इन्हे पता नही है कि आजकल
लोग गाय ढोर की भी गान्ड मार लेते है तो फिर क्या लेसबो और क्या होमो
सुधा : भाभी अभी में इतनी बड़ी भी कहाँ हुई हूँ
सोनू : अच्छा जा एक बार अपना मस्त भोसड़ा फैला कर अपने भैया को दिखा दे, अब वह ही तुझे बताएगे कि तू छोटी बच्ची है या माँ बनने लायक है
सुधा : शर्म करो भाभी, भला कोई भाई बहन के बीच ऐसी बात लाता है क्या
सोनू : और अगर में कहूँ कि तेरे भैया को तेरी यह मोटी मस्त गान्ड बहुत पसंद आती है तब
सुधा : गुस्सा होते हुए, भाभी मज़ाक की भी हद होती है,
सोनू : अरे जाती कहाँ है, तेरे और मेरे रिश्ते में मज़ाक की कोई हद नही होती है, तुझे पता है हमारे गाँव में तो नंद भाभी आपस में चुदाई भी
कर लेती है
सुधा : क्या बात कर रही हो भाभी
सोनू : अरे यह तो कुछ भी नही मेरी सहेली सपना के बारे में सुनेगी तो दंग रह जाएगी, पर रहने दे तुझे ऐसे बाते पसंद नही आती है ना
सुधा : सोनू के गाल खिचते हुए, ओ मेरी प्यारी भाभी, तुम्हारी यही कमिनि हरकत तो मुझे बहुत अच्छी लगती है, में जानती हूँ तुम मुझे पूरी बात बताओगी पर नखरा तुमसे बेहतर कोई नही कर सकता मुझे तो समझ में नही आता कि तुम इतनी बड़ी छिनाल टाइप बाते कैसे कर लेती हो
सोनू : मुस्कुराते हुए, अच्छा सच सच बता तुझे मेरी बाते अच्छी लगती है ना
सुधा : मुस्कुराते हुए, हुउऊँ
सोनू :अगर तू इंटरेस्ट ले तो में तो तुझसे ऐसी बाते भी कर सकती हूँ कि तू बैठे बैठे अपनी चूत से पानी छोड़ दे
सुधा : अब रहने दो भाभी इतनी भी मत हाँको
सोनू : अच्छा तू इंटरेस्ट लेगी, तो में बताऊ
सुधा : अच्छा ठीक है बताओ, लेकिन बिना मेरे यहाँ वहाँ हाथ लगाए
सोनू ; अच्छा नही लगाती पर थोड़ा मेरे करीब तो बैठ बस धीरे धीरे तेरे इन कसे हुए उभारों को सहला तो लेने दे
भरी हुई जांघे और उस पर भारी मोटे मोटे मटकते चुतड़ों को देखते हुए में अपने लंड को धीरे धीरे मसल रहा था तभी
सुधा ने पीछे मूड कर मुझे अपनी गुदाज मोटी गान्ड को घूरते हुए पाया और एक कातिल सी स्माइल दे कर अंदर चली गई,
जब घर पहुचा तो सोनू अंदर आई और आते ही मेरी पॅंट खोलने लगी
रोहित : क्या हुआ रानी पॅंट क्यो उतार रही हो अभी लंड लेने का इरादा है
सोनू : मुस्कुराते हुए, अरे रूको तो चलो चड्डी नीचे करके अपने लंड को बाहर निकालो, इतना कह कर सोनू ने खुद ही लंड चड्डी
से बाहर निकल लिया जिसमे अभी भी अकड़न बाकी थी, सोनू ने टोपे को खोल कर लंड को दबाया और उसमे से पानी की दो तीन बूंदे
निकल आई
सोनू ने मेरी और मुस्कुरा कर देखा और पानी की बूँदो को अपनी उंगलिओ में लेकर मसल्ते हुए कहने लगी
सोनू : रास्ते भर खड़ा था क्या तुम्हारा लंड
रोहित : मतलब
सोनू : ज़्यादा बनो मत सुधा की गर्मी पाकर ही पिघला है ना यह
रोहित : अरे तुम भी ना बस एक ही चीज़ तुम्हारे दिमाग़ में चलती रहती है
सोनू : मेरे लंड को सहलाते हुए, कहने लगी खूब मोटी और गदराई हुई जांघे है ना तुम्हारी बहन की
रोहित : मंद मंद मुस्कुराते हुए हुउँ,
सोनू : लंड को कस कर दबाते हुए, अरे जब अपनी बहन की मोटी गुदाज जांघे देख कर तुम्हारे इन महराज के यह हाल है तो जब
अपनी बहन की मस्त फूली हुई मोटी मोटी फांको वाली चिकनी चूत देखोगे तो फिर क्या हाल होगा
रोहित : तुम तो ऐसे कह रही हो जैसे वह आकर मुझे अपनी चूत दिखाने वाली है
सोनू : मुस्कुराते हुए बड़ा मन कर रहा है अपनी बहन की मस्त फूली चूत देखने का, कहो तो दिखवा दूं
सोनू की बात सुन कर मैने उसकी गान्ड को साड़ी के उपर से सहलाते हुए मुस्कुरा कर कहा , केवल चूत देखने भर से क्या होगा
सोनू : मुस्कुरा कर अच्छा जी बात यहा तक आ पहुचि है कि अब आप अपनी बहन को चोदना भी चाहते हो, तभी तो कहूँ कि आजकल
उसका नाम लेते ही ये लंड महराज ऐसे झटके क्यो मारने लगते है, हम बात ही कर रहे थे कि बाहर से मम्मी की आवाज़ आई जो कि
सोनू को बुला रही थी,
सोनू : झल्लाते हुए, ये तुम्हारी माँ की चूत में भी बड़ी खुजली मची रहती है ज़रा भी दम नही लेती है, और फिर सोनू वही
बैठी बैठी चिल्लाई......आई...... माँ जी....
नीलम हेवी डील डोल, बड़ा सा पेट काफ़ी उभरा हुआ बीच में साल और फिर गहरी नाभि साड़ी दो इंच नीचे मोटे मोटे खरबूजो से
दूध स्लीवलेस चोली में और मोटी मोटी केले के खंबो जैसी तनो जाँघो के उपर बहुत भारी और सुडोल चूतड़ मटकाते हुए,
नीलम : अरे बहू ज़रा देख आज कितने दिनो बाद मैने साड़ी पहनी है कैसी लग रही हूँ,
सोनू: मम्मी अच्छी तो लग रही हैं लेकिन आपके बदन पर तो टाइट चिपकी हुई लेग्गी या फिर कसा हुआ जीन्स ही ज़यादा अच्छा लगता है
पर वैसे साड़ी जब आप पहनती है तो इसे नाभि से थोड़ा और नीचे रखा कीजिए तब यह आप पर और भी अच्छी लगती है, और फिर नीलम
ने अपनी साड़ी को नाभि के और भी नीचे सरकते
हुए अपने गदराए पेट को मसल्ते हुए कहा, आज तो पेट भी खराब लग रहा है ज़रा चाइ पिला दे तो शायद कुछ आराम मिले,
सोनू : माजी गॅस बन रही होगी और चाइ से तो और भी गॅस बनेगी
नीलम अरे नही रे, चाइ पीकर ज़रा फ्रेश हो आती हूँ शायद राहत मिले, सोनू का खुराफाती दिमाग़ तो था ही वह अपने मन में
मुस्कुराती हुई सोचने लगी, माजी कहीं पापा जी से गान्ड तो नही मरवाती हो, तभी तुम्हारी गान्ड में खुजली मची रहती है, पर
पापा जी अब इस उमर में तुम्हारी गान्ड क्या मारते होंगे, तुम्हारी इस मोटी घोड़ी जैसी गान्ड में तो कोई बड़ा सा लंड चाहिए जो तुम्हे
कस कस कर चोदे,
नीलम : अरे घोड़ी अब खड़ी खड़ी क्या सोचने लगी
सोनू : मुस्कुरा कर कुछ नही माजी आपका इलाज कैसे करूँ यही सोच रही थी, में अभी चाइ लेकर आती हूँ, और फिर सोनू भागते
हुए मेरे पास आई और पूछने लगी क्योजी आप चाइ पियोगे क्या, मैने कहा पिला दो,
सोनू: अच्छा एक बात पुंच्छू
रोहित : क्या
सोनू : अगर तुम्हे कोई अच्छी मोटी तगड़ी गान्ड मारने को मिले तो मारोगे कि नही
में सोनू की बात सुन कर मुस्कुराते हुए, कहने लगा डार्लिंग तुम्हारी गान्ड मारता तो हूँ और कौन सी गान्ड का जुगाड़ है
सोनू : अगर तुम्हे खूब मोटे मोटे चुतड़ों में अपना मूसल डाल कर कूटना हो तो बोलो
रोहित : बताओ तो सही किसके चुतड़ों की बात कर रही हो
सोनू : अभी नही बताउन्गी, अगर बता दिया तो पानी छोड़ दोगे
रोहित : ऐसे किसके चूतड़ है जिनका नाम सुनते ही में पानी छोड़ दूँगा
सोनू: में चाइ बना कर लाती हूँ फिर बाद में बताउन्गी तुम्हे
सोनू इतना कह कर चली गई और मेरा लंड उसकी बातों से ही खड़ा हो गया था, में तो उसकी बाते सुन कर यही समझ रहा था कि
वह ज़रूर सुधा की मोटी गान्ड की बात कर रही होगी, इसीलिए मेरे लंड में अपनी बहन की गान्ड को सोच कर ताव आ गया था,
शाम को माँ पार्क में घूमने गई हुई थी और सुधा सोनू के साथ रूम में बैठी थी दोनो कुछ बाते कर रही थी, मैने अपने मोबाइल
को साइलेंट मोड पर करके और ऑडियो रेकॉर्डिंग ऑन कर दी और मोबाइल को वही रूम पर रख कर बाहर आ गया, करीब 1 घंटे बाद
सोनू बालकनी में आई और कहने लगी चलो पार्क में बैठेंगे, मैने कहा, ठीक है तो वह कहने लगी फिकर मत करो आज तो माजी
भी पार्क में घूमने गई है और सुधा भी चल रही है,
मैने कहा ठीक है चलो और में रूम में जाकर अपना मोबाइल लेकर आ गया और फिर सुधा और सोनू घूमने लगी और मैं मोबाइल
कान से लगा कर वह ऑडियो रेकॉर्डिंग सुनने लगा, सोनू काली साड़ी में अपने गुदाज चुतड़ों को मटका मटका कर मेरे सामने से निकलती
और जानबूझ कर जब मेरे सामने से जाती तो अपनी गान्ड को खुजलाने लगती और मुझे देख देख कर मुस्कुराने लगती, में उसके चुतड़ों
को घूरते हुए फिर अपनी बहन सुधा की भारी गान्ड देखने लगता, सुधा जीन्स फसा कर घूम रही थी और उसमे उसकी जांघे खूब
दबोचने लायक लग रही थी और गान्ड का भारी उठाव और चौड़ाई देख कर तो मेरा लंड फटा जा रहा था,
अभी दो ही राउंड उन्होने लगाए होंगे कि सोनू सुधा को छोड़ कर मेरे पास आई और मेरे कान में धीरे से कहने लगी, आज तो जीन्स में तुम्हारी बहन की गान्ड खूब मोटी नज़र आ रही है, आज में उसको खूब चक्कर लगवाउंगी तुम आराम से जी भर कर अपनी प्यारी बहन की गुदाज जवानी
और मोटी गान्ड का आनंद लो, में मुस्कुराते हुए कहा ठीक है,
तो सोनू ने मेरे गालो को खींचते हुए कहा, में जानती हूँ आज रात को तुम मुझे खूब कस कस कर चोदने वाले हो और मेरी गान्ड और चूत लाल कर दोगे, उसके बाद सोनू फिर से सुधा के साथ घूमने लगी,
सोनू जानती थी कि में अपनी बहन सुधा के भारी चुतड़ों को जब भी जीभर कर देखता हूँ तो रात को सोनू को चोदते हुए यही सोच
सोच कर सोनू की गान्ड और चूत मारता हूँ जैसे कि में अपनी जवान रसीली बहन सुधा को चोद रहा हूँ, मैने इधर उधर देखा तो माँ
थोड़ी दूर किसी आंटी के साथ पार्क में बैठ कर बाते कर रही थी, मैने ऑडियो सुनना शुरू किया, ऑडियो में सोनू कह रही थी .
सोनू : क्यो ननद रानी आज कल रात को देर तक तुम्हारे कमरे की बत्ती जलती रहती है, कही कोई लंडा तो नही फसा लिया जिससे फोन
पर बतियाती रहती हो
सुधा : मुस्कुराते हुए क्या भाभी आप भी ना बस ले देकर एक ही बात पर आडी रहती हो अरे बाबा मेरा किसी लड़के से कोई अफेर नही है
सोनू : अच्छा जी पर तुम्हारी जवानी, ये भारी भारी जांघे चौड़े और उठे हुए चुतड़ों और फिर सुधा के बोबे को मसल्ते हुए, इन मोटे मोटे गुदाज दूध को देख कर तो बच्चो और बुढ्ढो के मन में भी तुंझे नंगी करके देखने और सहलाने का ख्याल आ जाता होगा, फिर जवान लोंडो की तो बात ही अलग है
सुधा : मुस्कुराते हुए, क्यो जवान लोंडो में ऐसा क्या है
सोनू : हे सुधा तुझे क्या पता जवान और मोटा तगड़ा लंड कितना मज़ा देता है
सुधा : चुप करो भाभी कितनी साफ भाषा में बात करती हो कोई सुन लेगा तो
सोनू : अरे नंद रानी तू नही जानती जब मोटा मोटा काला डंडा यहाँ घुसता है तो कितना मज़ा देता है और उपर से तेरे भैया का लंड तो पूरा मूसल है वो जब मुझे नंगी करके चोदते है
सुधा : हूँ
सोनू : क्या बात है कहाँ खो गई
सुधा : आह भाभी अपनी कोहनी हटाओ ना मेरी जाँघो से
सोनू : अहह हहा ननद रानी ऐसे क्यो सीसीया रही हो कही किसी ने सुन लिया तो सोच में पड़ जाएगा कि ननद भाभी में इतनी सीसीयाहट कैसे आ रही है
सुधा : भाभी आप कभी खुराफाती बातों के अलावा भी कुछ सोचती है,
सोनू : हँसते हुए, में तो जब से जानने समझने लायक हुई हूँ तब से सिवाय चूत लंड के मुझे कोई बात अच्छी ही नही लगती है
सुधा : अच्छा तो जब आपकी शादी नही हुई थी तब यह सब बाते किससे करती थी
सोनू : अपनी सहेली सपना से मेरी सबसे खास दोस्त है वो, तू नही जानती उसने तो शादी के पहले भी कई बार मेरा पानी निकाला है
सुधा : अश्चर्य से देखती हुई, क्या बात कर रही हो भाभी
सोनू : सच्ची, आज भी मिलती है तो, बिना मेरी चूत सहलाए मानती ही नही है
सुधा : में तो समझती थी कि यह सब नेट पर और मूवी पर ही ऐसा होता है पर क्या सचमुच दो औरते भी ऐसा करती है
सोनू : अब ज़्यादा बन मत इतनी बड़ी घोड़ी हो गई है कि आज छोड़ो तो कल माँ बन जाए, और नखरा देखो कि इन्हे पता नही है कि आजकल
लोग गाय ढोर की भी गान्ड मार लेते है तो फिर क्या लेसबो और क्या होमो
सुधा : भाभी अभी में इतनी बड़ी भी कहाँ हुई हूँ
सोनू : अच्छा जा एक बार अपना मस्त भोसड़ा फैला कर अपने भैया को दिखा दे, अब वह ही तुझे बताएगे कि तू छोटी बच्ची है या माँ बनने लायक है
सुधा : शर्म करो भाभी, भला कोई भाई बहन के बीच ऐसी बात लाता है क्या
सोनू : और अगर में कहूँ कि तेरे भैया को तेरी यह मोटी मस्त गान्ड बहुत पसंद आती है तब
सुधा : गुस्सा होते हुए, भाभी मज़ाक की भी हद होती है,
सोनू : अरे जाती कहाँ है, तेरे और मेरे रिश्ते में मज़ाक की कोई हद नही होती है, तुझे पता है हमारे गाँव में तो नंद भाभी आपस में चुदाई भी
कर लेती है
सुधा : क्या बात कर रही हो भाभी
सोनू : अरे यह तो कुछ भी नही मेरी सहेली सपना के बारे में सुनेगी तो दंग रह जाएगी, पर रहने दे तुझे ऐसे बाते पसंद नही आती है ना
सुधा : सोनू के गाल खिचते हुए, ओ मेरी प्यारी भाभी, तुम्हारी यही कमिनि हरकत तो मुझे बहुत अच्छी लगती है, में जानती हूँ तुम मुझे पूरी बात बताओगी पर नखरा तुमसे बेहतर कोई नही कर सकता मुझे तो समझ में नही आता कि तुम इतनी बड़ी छिनाल टाइप बाते कैसे कर लेती हो
सोनू : मुस्कुराते हुए, अच्छा सच सच बता तुझे मेरी बाते अच्छी लगती है ना
सुधा : मुस्कुराते हुए, हुउऊँ
सोनू :अगर तू इंटरेस्ट ले तो में तो तुझसे ऐसी बाते भी कर सकती हूँ कि तू बैठे बैठे अपनी चूत से पानी छोड़ दे
सुधा : अब रहने दो भाभी इतनी भी मत हाँको
सोनू : अच्छा तू इंटरेस्ट लेगी, तो में बताऊ
सुधा : अच्छा ठीक है बताओ, लेकिन बिना मेरे यहाँ वहाँ हाथ लगाए
सोनू ; अच्छा नही लगाती पर थोड़ा मेरे करीब तो बैठ बस धीरे धीरे तेरे इन कसे हुए उभारों को सहला तो लेने दे
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Re: Incest-चुदासी फैमिली
सुधा : भाभी प्लीज़ ऐसा मत करो मुझे कुछ होता है
सोनू : मेरी बाते सुन कर या हाथ लगाने पर
सुधा : दोनो से
सोनू : तो तुझे जो होता है वह अच्छा नही लगता क्या
सुधा : अच्छा लगता है पर
सोनू : पर क्या, जब किसी मर्द से इन मोटे मोटे आमों को दबवायेगी और चुस्वाएगी तब देखना कितना मज़ा आएगा तुझे
सुधा : क्यो मर्द के दबाने से ज़्यादा मज़ा आता है क्या
सोनू : क्या तूने सचमुच आज तक किसी से नही दबवाये
सुधा : अब भाभी आप से झूठ बोल कर कहाँ जाउन्गी
सोनू : दबवायेगी
सुधा : चौंकते हुए, किससे
सोनू : पहले तू बता तो, केवल दूध भर दबवाना है या फुल मज़ा लेना है
सुधा : नही भाभी यह सब ग़लत बात है मुझे डर लगता है
सोनू : तुझे अपनी भाभी पर भरोसा नही है, फिर सोनू ने सुधा की फूली हुई चूत को मुट्ठी में भर कर दबोचते हुए कहा
सच कह रही हूँ सुधा एक दम मस्त हो जाएगी, सच बात तो यही है कि अब तुझे किसी अच्छे ख़ासे तगड़े और मोटे लंड की ज़रूरत है
तू हाँ कहे तो में तुझे मस्त लंड दिलवा सकती हूँ,
सुधा : मुस्कुराते हुए, तुम भी ना भाभी, यह सब बाते बंद करो में जा रही हूँ
सोनू : अच्छा एक बार बस बता दे करवाएगी क्या
सुधा : अच्छा बाबा सोच कर बताउन्गी
सोनू : चल ठीक है
सुधा : अब मुझे बताओ आप क्या बता रही थी अपनी सहेली सपना के बारे में
सोनू : अरे तू नही जानती मेरी सहेली सपना खूब मज़े कर रही है वह भी अपने ही घर में, ना किसी का टेन्षन ना कोई और प्राब्लम बस जब
उसका मन करता है मस्त मोटे लंड से खूब कस कस कर चुदती है
सुधा : पर उसे चोदता कौन है, सुधा भी अब धीरे धीरे चुदाई की बाते करने लगी थी
सोनू : अरे पागल उसका खुद का बड़ा भाई छोड़ता है और कौन
सुधा : क्या बात कर रही हो भाभी
सोनू : सच कह रही हूँ, उसने मुझे खुद बताया है, बोलती है मुझे मेरे भैया का लंड सबसे ज़्यादा मज़ा देता है
सुधा : कैसे चुदवा लेती है ना ये सब अपने भाइयो से
सोनू : उसमे क्या बड़ी बात है, आज कल के भाई भी तो अपनी ही माँ बहनो के बदन को नंगा करके देखने के लिए और कई तो चोदने के लिए मरे जा रहे है
सुधा : यह बात तो आप सही कह रही है भाभी, मैने भी एक दिन अपनी एक सहेली के भाई को देखा था जब वह अपनी बहन को बाइक से ड्रॉप करने आया था
जब उसकी बहन जाने लगी
तब उसने अपनी नज़रे अपनी बहन के चुतड़ों पर टिका दी और बिल्कुल खा जाने वाली नज़रो से अपनी बहन के चुतड़ों को घूर रहा था,
उसके बाद थोड़ी देर तक खामोशी रही शायद मोम आ गई थी फिर ऑडियो ख़त्म हुआ और मेरा लंड झटके पर झटके मार रहा था, में बैठे बैठे लंड को
सहलाने लगा और जब वह दोनो राउंड मार कर मेरे सामने आती तब में चुपचाप बैठ जाता
करीब 10 मिनिट के बाद सुधा अकेली हो गई और सोनू मेरे पास आकर बैठ गई वह बड़ी बदमाश थी उसने आते ही मेरे लंड को पकड़ कर देखा और मुस्कुराते
हुए कहने लगी,
सोनू : आज तो अपनी रंडी बहन के चुतड़ों को अपनी नज़रो से ही ना फाड़ देना कितना बड़ा हो रहा है आपका मूसल, मुझे तो लगता है आपका मन अपनी बहन
सुधा को खूब हुमच हुमच कर चोदने का हो रहा है, सच सच बताओ चोदोगे सुधा को
रोहित : मुस्कुराते हुए कैसी बात कर रही हो सोनू वह आख़िर मेरी बहन है उसे में कैसे चोद सकता हूँ
सोनू : लेकिन अगर वह तुम्हे चोदने को मिल जाए तो, अभी तुमने उसे पूरी नंगी नही देखा है, तो तुम्हारे लंड के यह हाल है अगर उसे नंगी देख लोगे तो
अपनी बीबी को भी भूल जाओगे, अब चोदना हो तो बोलो नखरे ना दिखाओ
रोहित : अब में तो कुछ नही कर सकता हाँ अगर तुम साथ दो तो में सुधा को ...........
सोनू : लंड दबाते हुए, आगे भी तो बोलो
रोहित : यही कि में सुधा को तभी चोद सकता हू जब तुम मेरा साथ दो
सोनू : तो ठीक है में तुम्हारा साथ देती हूँ अब तुम्हे तुम्हारी बहन की चूत दिलवा कर ही रहूंगी
नीलम-ने रोहित से कहा चल बेटे थोड़ा छत पर टहल लेते है तब तक सोनू तू ज़रा चाइ तो बना ले आज खाने के बाद चाइ पीने का बड़ा मन
कर रहा है, सोनू ने कहा जी मम्मी अभी बना कर लाती हूँ और वह बाहर चली गई, रोहित झट से खड़ा हो गया और फिर नीलम उसके आगे आगे चलने लगी
और रोहित अपनी मम्मी के पीछे पीछे चलने लगा, रोहित की नज़र जब नीलम के 42 साइज़ के मोटे मोटे चुतड़ों पर पड़ी तो उसका हाथ अपने आप पाजामे में लंड
के उपर चला गया और जब नीलम सीढ़िया चढ़ने लगी तो रोहित बस अपनी मम्मी के मोटे मोटे चौड़े चुतड़ों को खा जाने वाली नज़रो से देखता हुआ पीछे
पीछे सीढ़िया चढ़ने लगा लेकिन उसने यह नही देखा कि नीलम ने अपने बेटे को धीरे से पलट कर अपने भारी भरकम चुतड़ों को खा जाने वाली नज़रो से
घूरते हुए देख लिया था, और ना जाने क्यो नीलम के चेहरे पर एक स्माइल आ गई और वह दोनो छत पर पहुच गये थे,
उधर किचन में सोनू मन ही मन
बड़बड़ा रही थी अपनी सास के उपर और कह रही थी रंडी को जब देखो चाइ की तलब लगी रहती है इसकी तो मोटी गान्ड में में ऐसा खुन्टा डलवाउंगी कि इसकी
सारी अकड़ ठिकाने आ जाएगी बस मुझे कोई मोका तो हाथ लगे यह सोचती सोचती वह चाइ बना कर उपर लेकर जाती है और नीलम और रोहित को चाइ दे देती
है, तब नीलम कहती है बहू अपने पापा से भी पूछ लेना शायद उनको भी पीना हो और सोनू जी माँ जी कह कर नीचे उतर आती है और फिर चाइ लेकर
मनोहर के रूम में जाती है, मनोहर के रूम में जाकर वह कहती है पापा चाइ लेंगे, मनोहर कहता है पिला दो बेटी और उसकी बात सुन कर सोनू स्माइल
करती हुई जैसे ही चाइ टेबल पर रखने के लिए झुकती है उसकी नज़रे पापा जी को देखती है और वही होता है मनोहर सोनू के ब्लाउज से आधे से ज़यादा
बाहर आ रहे पके आमो को खा जाने वाली नज़रो से घूर रहा था, सोनू की नज़र जब मनोहर की लूँगी पर पड़ती है तो उसकी स्माइल गायब हो जाती है क्योकि
लूँगी में मनोहर का लंड उसे खड़ा नज़र आ रहा था, सोनू जब मनोहर के सामने बैठी सुधा को देखती है तो सुधा कॉपी में मेद्स का कोई सवाल हाल करने
में बिज़ी थी और उसने वाइट कलर की टी-शर्ट पहनी हुई थी जिसमे उसके मोटे मोटे बड़े बड़े कसे हुए दूध बहुत कातिलाना दिख रहे थे शायद सुधा ने ब्रा
नही पहनी हुई थी इसलिए उसके दूध और भी मोटे नज़र आ रहे थे,
सोनू : मुस्कुराते हुए सुधा पहले चाइ पी लो ठंडी हो जाएगी इतना कह कर वह बाहर आ जाती है और फिर किचन में जाकर खुद के लिए चाइ लेकर हाल में
आकर सोचने लगती है पापा का लंड तो बहुत तगड़े तरीके से खड़ा था कहीं सुधा के मोटे मोटे उरोजो को देख कर तो नही तना हुआ था, कुछ तो बात है
पापा तो बड़े रंगीन नज़र आ रहे है, अगर में पापा को फसा लूँ तो मुझे भी एक और लंड से चुदने का आनंद मिलने लगेगा, है यह क्या हो रहा है सोनू
ने अपनी चूत को सहलाते हुए कहा, पापा की गोद में बैठने का सोचने भर से मेरी रसीली चूत पानी पानी हो गई, कैसे लूँगी में पापा का लंड टॅंट बनाए
खड़ा था, अब लगता है मुझे पापा को अपनी जवानी का असली जलवा दिखना ही पड़ेगा, पापा को में इतना पागल कर दूँगी कि वह मेरी गान्ड के पीछे पीछे ही
घूमेंगे,
उधर सुधा मेद्स के सवाल करने में बिज़ी थी और मनोहर अपने खड़े लंड को लूँगी के उपर से सहलाता हुआ कभी सुधा के मोटे मोटे कसे हुए दूध को
देख रहा था और कभी उसकी लेग्गी में कसी हुई गुदाज मोटी मखमली जाँघो को देख रहा था और सोच रहा था, बहू और सुधा दोनो के दूध कितने मस्त
लगते है कस मुझे इन्हे कस कस कर मसल्ने और पीने का मज़ा मिल पाता तो मज़ा आ जाता, पर समझ नही आता में कैसे इनकी मदहोश कर देने वाली जवानी
को मसलू और इनका रस पी जाउ, नीलम को चोद चोद कर में अब बोर हो गया हूँ अब तू मुझे सोनू या सुधा जैसा कसा हुआ गदराया माल चोदने को मिले तब ही
असली मज़ा आएगा,
सुधा और सोनू को अपने लंड पर बैठने का सोच कर ही मनोहर का लंड पूरे औकात में आ गया और उसने सुधा की गदराई जाँघो और मोटे मोटे पतली सी
टीशर्ट में कसे रस से भरे दूधो को देखा और फिर उसने सुधा से कहा बेटा ज़रा सामने की आल्मिरा से मेरी सबसे उपर वाली बुक निकाल कर ले आओ, मनोहर
का मन सुधा की लेग्गी में कसे हुए गुदाज भारी चुतड़ों की मतवाली थिरकन देखने का हो रहा था, उसकी बात सुनते ही सुधा जो बेड पर बैठी थी उठी और
अपनी भारी 40 की मोटी गान्ड को मटकाते हुए सामने की आल्मिरा की ओर जाने लगती है और मनोहर अपने लंड को मसलता हुआ सुधा के मोटे मोटे चुतड़ों को देखने
लगता है, सुधा की मोटी गान्ड में उसकी लेग्गी फसि हुई थी और उसकी मोटी मतवाली गान्ड खूब कस कर चोदने लायक लग रही थी,
उसने जैसे ही उपर हाथ
बढ़ा कर अपने पैरो के पंजो पर खड़ी हुई और बुक निकाल कर जैसे ही सीधी हुई उस दरमियाँ सुधा के गदराए चुतड़ों के उतार चढ़ाव को देख कर मनोहर
का लंड झटके देने लगा था, फिर जब सुधा वापस पलट कर आने लगी तो मनोहर ने सुधा की चूत वाले हिस्से को देखा वहाँ लेग्गी के उपर सुधा की चूत
का मस्त फूला हुआ उभार देख कर मनोहर गदगद हो गया और फिर अपनी बेटी की मदमस्त जवानी को उपर से नीचे तक देख कर सुधा के अपने पास आने से पहले
ही मनोहर ने अपना लंड मसलना छोड़ दिया, सुधा ने वह किताब दी और बैठते हुए कहने लगी पापा यह सवाल नही आ रहा है ज़रा देखिए ना, मनोहर ने
सुधा की मोटी जाँघ पर हाथ रखते हुए कहा अरे बेटी फ़ॉर्मूला तो तुमने सही लगाया नही है और यह कहते हुए मनोहर ने सुधा की मोटी जाँघो के गुदाज
माँस को दबा कर देख लिया और उसकी जाँघो को छुने भर से मनोहर को ऐसा लगा उसका लंड फट जाएगा,
मनोहर सोचने लगा सुधा पूरी नंगी क्या कयामत लगती होगी, अगर सुधा को पूरी नंगी करके चोदना है तो मुझे कुछ ना कुछ जुगाड़ करना ही पड़ेगा,
उधर सोनू वापस छत पर चली जाती है और कुछ देर रोहित और नीलम से बाते करती है फिर रोहित कहता है मम्मी मुझे नींद आ रही है में जाता हूँ
और वह सोनू को स्माइल देकर नीचे आ जाता है,
नीलम : सोनू से पूछती है अभी सुधा पढ़ रही है
सोनू : हाँ मम्मी में दोनो को चाइ अलग पिला आई हूँ अब तो वह और देर तक पढ़ेगी उसकी नींद मेरी चाइ से उड़ गई होगी, आप कहे तो में सुधा को बुला लूँ
आपको पापा के पास जाना होगा,
नीलम : मुस्कुरा कर नही रे अब तेरे पापा मेरी और ज़्यादा ध्यान ही कहाँ देते है लगता है में बूढ़ी हो चली हू
सोनू : क्या मम्मी आप भी ना अभी तो असली जवानी आप पर चढ़ि नज़र आती है आपका बदन इतना सुडोल और भरा हुआ है की अच्छे अच्छे आपको देख कर
पागल हो जाए,
नीलम : अपनी तारीफ सुन कर खुश होती हुई, हाँ रे तू कहती तो सही है पर जब अपना पति ही अपने से बोर हो जाए तो यह भरा बदन भी किस कम का
सोनू : मम्मी एक बात कहूँ आप भी ना पागल है मेरी एक आंटी है वह आपकी उमर की होगी अंकल आंटी पर ज़्यादा ध्यान नही देते थे बस अपने बिज़्नेस में
बिज़ी रहते थे तब आंटी ने अपनी फंतासी को अलग तरह से एंजाय करना शुरू कर दिया था
नीलम |: उत्सुकता से पूछने लगी वह भला कैसे
सोनू : मुस्कुराते हुए, अब मम्मी में आपसे कैसे कहूँ मुझे शरम आती है
नीलम : चल बड़ी आई शरमाने वाली मुझसे क्या शर्मा रही है बहुए तो अपनी सास से अपनी और अपने बेटे की चुदाई की बाते तक कर लेती है और तू शरमा रही
है जैसे कि में तुझे जानती नही,
सोनू : हँसते हुए मम्मी आप सोचेंगी कि सोनू कैसी बाते कर रही है
नीलम : अब शरमा मत और जल्दी से बता दे क्या करती थी तेरी आंटी
सोनू : अरे मम्मी जब आंटी को मज़ा लेना होता था तब वह कहीं भी मार्केट में निकल जाती थी और बहुत सेक्सी ड्रेस पहन कर लोगो को अपनी जवानी दिखाती थी,
जिससे भीड़ वाले इलाक़े में लोग आंटी के दूध दबाते और कई लोग उनकी मोटी गान्ड को भी अपने हाथो से दबोच लेते थे, कभी कभी आंटी बस में भीड़
में खड़ी होती तब कई लोग उसकी गान्ड के पीछे खड़े हो जाते और अपने खड़े हथियार को आंटी की गान्ड में रगड़ते थे जिससे आंटी की चूत पानी पानी हो
जाती थी, आंटी इसी तरह से अपनी जवानी का खूब लुफ्त उठाती है और मज़े करती है
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