ज़िद (जो चाहा वो पाया) complete

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jay
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Re: ज़िद (जो चाहा वो पाया)

Post by jay »

मैने अपना जूस ख़तम करके ग्लास को टेबल पर रखा और उस वीडियो को डाउनलोडिंग पर लगा दिया… नेहा खाली ग्लास लेकर बाहर चली गयी…..मोका देखते ही मैने डाउनलोड मॅनेजर को मिनिमाइज़ किया और नेहा के जो सेल्फ़ शॉट क्लिप थी उसे वॉल्यूम मूट करके स्टार्ट कर दिया…..एक बार फिर से नेहा का नंगा बदन उस वीडियो मे देखने के बाद मेरा लौडा मेरा शेर मेरी पेंट मे फूलने लगा…और फिर से कब मेरा हाथ मेरे पेंट के ऊपर से मेरे लंड पर आ चुका था….मुझे पता नही चला…तभी मुझे थोड़ी देर बाद नेहा के कदमो की आहट सुनाई दी, तो मैने वीडियो बंद कर दी…..और साइट ओपन करके देखने लगा…..

नेहा मेरे पास आकर बैठ गयी……वीडियो तो बंद कर चुका था…..पर अपने हाथ का बटन ऑफ करना भूल गया था….जो अभी भी मैने अपने लंड के ऊपर रखा हुआ था….नेहा का ध्यान जैसे ही मेरे हाथ के तरफ गया तो मेरे भी ध्यान मे आया तो मैने अपने हाथ को हटा लिया…..नेहा ने एक बार मेरे थोड़ा मुस्कराते हुए देखा…..”क्यों बेचारे का गला घोंठ रहे हो……” नेहा ने मुस्कुराते हुए कहा,…..

मे: जी मे कुछ समझा नही…..किसका गला……

नेहा: (मुस्कुराते हुए) वीडियोस देख कर सिर्फ़ पकड़ना ही आता है…..या फिर प्रॅक्टिकली भी कुछ किया है….

मे: (मे नेहा की बात तो समझ गया था…..पर अभी भी सीधा कुछ भी कहने के हिम्मत नही कर पाया था….) जी कभी किया नही……

नेहा: (मेरी जाँघ पर हाथ रखते हुए) डाउनलोडिंग तो होती रहेगी…..चल आज तुझे सच की पॉर्न मॉडेल दिखाती हूँ…..

ये कहते हुए नेहा खड़ी हुई…..और मेरा हाथ पकड़ कर मुझे भी खड़ा कर दिया…..और फिर बेड की तरफ चलने लगी….और बेड के पास रुक कर मेरी तरफ मूडी…..और फिर मेरा हाथ छोड़ते हुए अपने अपने गाउन को खोलने लगी…उसने अपना गाउन खोल कर नीचे बेड पर फेंक दिया और फिर मेरी तरफ देखते हुए अपनी स्लीव लेस नाइटी के स्ट्रॅप्स को कंधो से सरकाते हुए अपनी बाहों से निकाल दिया…”वाउ मेरे मन नेहा मॅम के बड़े-2 बूब्स देख कर लड्डू फूटा……साली कमाल है यार…..सोचा नही था कि ये इतना सेक्सी माल निकले गा……नीचे ब्रा नही पहनी हुई थी….इसलिए उसके साँवले रंग के बूब्स पर उसके काले-2 बड़े और अंगूर के दानो की तरह फूले हुए मोटे निपल्स को देख कर दिल कर रहा था…कि अभी इन्हे दबोच कर मुँह मे भर कर सक करना शुरू कर दूं…..

पर अभी भी मे थोड़ा नर्वस फील कर रहा था……उसने अपने मम्मों पर हाथ रख कर दबाते हुए कहा….”तुषार कैसे है मेरे बूब्स…..पसंद आए तुम्हे….” मेने हां मे सर हिलाया तो वो नीचे बेड पर बैठ गयी….और फिर अपनी एक कोहनी को बेड के पीछे की तरफ टिकाते हुए पीछे की तरफ लेट गयी…वो पूरी तरह से लेटी नही थी…उसका सारा वजन उसके मोटे-2 गुदाज चुतड़ों और उसकी कोहनी पर था…..फिर जैसे ही उसने अपने दोनो पैरो को ऊपर उठा कर बेड के किनारे पर रखा तो उसकी नाइटी उसकी जाँघो से सरकते हुए, उसके कमर तक चढ़ गयी……

अब मेरे सामने नेहा की ब्लू कलर की वी शेप पैंटी थी…..शायद उसे शुरू से ही इस तरह के सेक्सी ड्रेसीज और अंडर गारमेंट पहनने का शॉंक था…..उसने मेरी तरफ मुस्कराते हुए देखा और फिर अपना एक हाथ पैंटी पर लाते हुए अपनी चूत के आगे से अपनी पैंटी को सरकाते हुए एक साइड को कर दिया…जैसे ही उसकी चूत मेरे आँखो के सामने आई……मेरा लंड पेंट फाड़ कर बाहर आने को उतावला होने लगा….वो लगतार मेरी ओर देखते हुए मुस्करा रही थी…….”तुषार आइ आम वेटिंग…..” उसने अपने जीभ को अपने होंठो पर फेरते हुए कहा……

पॉर्न मूवीस मे कई बार ओरल सेक्स देख चुका था….और नेहा मॅम के हावभाव से भी यही लग रहा था कि, वो चाहती थी कि, मे उनकी चूत को सक करूँ…..मे उसकी तरफ देखते हुए नीचे घुटनो के बल बैठ गया…

.”होल्ड दिस…..” उसने अपनी पैंटी की पतली सी पट्टी को जिसने उसकी चूत को कुछ देर पहले ढँक रखा था……उसे मुझे पकड़ने के लिए कहा….

.”मैने उसकी पैंटी को पकड़ लिया…..और उसने अपना हाथ पैंटी से हटा लिया और अपने हाथ की दो उंगलियों से वी शेप बनाते हुए अपनी चूत की फांको पर ऊपर से नीचे तक फेरा……जैसे ही उसकी उंगलियों के दबाव से उसकी चूत की फांके दबी….उसकी चूत के छेद से जो अभी उसकी चूत की फांको के बीच मे छुपा हुआ था….उसमे से गाढ़ा पानी बह कर बाहर आया…..और उसके गान्ड के छेद की तरफ बढ़ने लगा…..

फिर उसने अपनी दोनो उंगलियों की मदद से अपनी चूत की फांको को फैला दिया…..ये वो पहला मोका था….जब मे किसी औरत की चूत का छेद ठीक अपने सामने देख रहा था…

.”तुषार अब अपनी दो उंगलियों को मेरी फुददी मे डालो……”

मे नेहा के मुँह से शब्द सुन कर थोड़ा सा चोंका….फिर नेहा की ओर देखने लगा….

.”डालो ना देख क्या रहे हो…?” उसने मुस्कुराते हुए कहा….

मैने अपने काँपते हुए हाथ को उसकी चूत की तरफ बढ़ाया….और अपनी दो उंगलियों को उसकी चूत के छेद मे धीरे-2 अंदर घुसाने लगा……

.”अहह येस्स्स्स्स तुषार उम्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह……..डालो नाअ और अंदर……”

मैने अपने उंगलियों को तब तक नेहा की चूत मे दबाना जारी रखा…..जब तक मेरी दोनो उंगलियाँ उसकी चूत के छेद मे घुस ना गयी…….

नेहा: ओह्ह्ह्ह तुषार……अहह उम्ह्ह्ह्ह सीईईईईईईई अब अपनी दोनो उंगलियों को अह्ह्ह्ह अंदर पेलने की कॉसिश करो…..अलग करने की कॉसिश करो…..

मैने ठीक वैसे ही किया….जैसे ही मैने अपनी दोनो उंगलियों को चूत के अंदर ही फैलाना शुरू कर दिया…..मतलब कि अपनी दोनो उंगलियों को एक दूसरे से अलग रखने की कॉसिश की तो….मेरे उंगलियाँ नेहा की चूत के दीवारो से दोनो तरफ सट गयी….

”ओह्ह्ह्ह एसस्स तुषार येस्स्स अब अब अंदर बाहर करो….”

मैने धीरे-2 अपनी दोनो उंगलियों के बीच गॅप रखते हुए अंदर बाहर करना शुरू कर दिया. हालाकी दोनो उंगलियों मे आधे इंच से भी कम गॅप था…..पर इसके कारण मेरी उंगलियाँ नेहा की चूत के दीवारों से पूरी तरह रगड़ खाते हुए अंदर बाहर हो रही थी…….”ओह्ह्ह्ह एसस्स तुषार फास्टर और तेज करो हाआँ तेज येस्स अह्ह्ह्ह अहह ईसस्सस्स फक मी डियर…….”

नेहा ने अपनी गान्ड को बेड के किनारे से आगे की तरफ धकेलते हुए कहा….मेरी दोनो उंगलियाँ उसकी चूत से निकल रहे पानी से पूरी तरह भर चुकी थी…..”अह्ह्ह्ह अहह ओह तुषार….सक मी सक माइ पुसी तुषार यीस्स्स्स सक मी…….” नेहा ने अपनी चूत के फांको को पूरी तरह से फैलाते हुए मुझे अपनी चूत का क्लिट दिखाते हुए कहा…..”सक इट डियर……सक इट…….”

मैने अपनी जीभ बाहर निकाली और उसके क्लिट पर रगड़ना शुरू कर दिया…..कुछ पल तो थोड़ा अजीब सा लगा….पर चूत और सेक्स के नशे ने सब कुछ भुला दिया था…..अब मे अपनी जीभ से पूरी रफतार से उसके क्लिट को रगड़ रहा था….
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Re: ज़िद (जो चाहा वो पाया)

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