सबका लाडला (फैमिली स्टोरी )
Hello dosto, ye meri phli kahani h agar kahani me koi glti ho to btaana aur may krna
कहानी 70% तक रियल है तथा बाकि की काल्पनिक है
इस कहानी का मुख्य पात्र, हीरो राहुल है.
ये कहानी राजस्थान के जयपुर जिले के गाँव के एक परिवार की है. इनका मुख्य कार्य खेती है. परिवार मे लोग कम पढे लिखे है
कहानी मे पात्र अधिक होने के कारण सबके इंट्रोडक्शन मे समय लगेगा
इंट्रोडक्शन :-
माता - मुन्नी देवी (83)
बहुत साल पहले इनके पति की मौत हो चुकी है. इसने कुल 10 बच्चों को जन्म दिया, जिनमें से अब 6 ही जिंदा है (4 पुत्र, 2 पुत्री )
मुन्नी देवी अपने जमाने की एक रसीली औरत हुआ करती थीं. इनके मन मे आज भी सेक्स की भावना जिंदा है.
बड़ा भाई
रघुवीर सिंह (64)
पत्नी -धनपती देवी (60)
पुत्र -3, पुत्री -2 (इनकी शादी हो चुकी है, इनका परिचय समय आने पर होगा )
1. रामानंद (40), पत्नी -रेखा(38), साइज (34-30-32), रंग गोरा, गोरे गाल, छोटी गांड.
ये एक आग्याकारी पत्नी है. पता पत्नी में कम ही सेक्स होता है.
इनका एक बेटा है -विकास (17)
2. देवीलाल (38), पत्नी -सगीता, साइज(36-30-34), गोरा रंग बडे चुच्चे.
इसने अपनी जवानी मे बहुत गुल खिलाये है जो किसी को नहीं पता है.
एक बेटी -खुशी (16) अपनी माँ पर गयी है. अपना हीरो इसका फेवरेट चाचा, दोस्त है.
3. अनिल (34), पत्नी पंकज(32), साइज(32-32-32) दिखने मे ठिक -ठाक है.
इसने तीन बेटियों (एक मर गई ) को जन्म दिया है. जिस कारण इसका पति इसे प्यार नहीं करता है.
रौनक (10), वंशिका (8)
नंबर दो
कर्ण सिंह (60)
पत्नी - कमला (56)
ये एक नंबर का शराबी है, घर मे झगड़ा करना, पत्नी को पिटता है.
बेटा -1 बेटी -2( शादी हो गई है)
राजु (34), पत्नी -मीनाक्षी (32), साइज (36-34-36), भरा हुआ जिस्म, बडे चुच्चे साथ मे बड़ी गांड
ये अपने पति से लंबाई तथा वजन मे ज्यादा है
इसकी एक आँख मे कुछ दिक्कत है जिस कारण इसका पति इसे ज्यादा महत्व नहीं देता है
तीसरा भाई
सुमेर सिंह (57)
पत्नी -संतोष (52)
ये बिस्तर पर कम ही ध्यान देता है. ये खेती मे अधिक ध्यान देता है
एक बेटा, एक बेटी (शादी हो गई है)
राकेश (32), पत्नी -किस्मत (33), साइज(34-30-36), रंग गोरा, गांड बड़ी, ये बहुत ही फर्जी किस्म की औरत है, सबके सामने शरीफ रहती है.
ये आवारा और झूठा किस्म का लड़का है जिस कारण इसकी शादी जल्दी कर दी गई वो भी अपनी से बड़ी लड़की के साथ.
ये अपनी पत्नी का गुलाम है.
बेटा हरित (13), बेटी चारू(10)
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Re: सबका लाडला (फैमिली स्टोरी )
सबसे छोटा भाई
मुन्ना (44)
पत्नी -सुमन(41)
ये एकदम ही शरीफ किस्म की औरत है. ये गाँव में सरकारी स्कूल मे टीचर है. ये अपने पति की इज्जत करती है.
मुन्ना कोई काम नहीं करता है.
इनका एक बेटा है -राहुल (19) कहानी का हीरो
हाईट -6 फिट, हस्ट पुस्ट कसरती शरीर
लंड साईज - लंबाई (8 इंच), मोटाई (3 इंच)
राहुल अपनी माँ की बहुत इज्जत करता है.उनकी पुजा करता है.
ये बहुत ही शरीफ किस्म का लड़का है, लेकिन सेक्स के मामले मे एकदम हरामी है. ये सेक्स मे ज्यादा ध्यान देता है.
ये अपने घर की औरतो को चोदना चाहता है,
क्या ये चोद पायेगा, किस किस को चोट पायेगा, देखते है कहानी मे -
मुन्ना (44)
पत्नी -सुमन(41)
ये एकदम ही शरीफ किस्म की औरत है. ये गाँव में सरकारी स्कूल मे टीचर है. ये अपने पति की इज्जत करती है.
मुन्ना कोई काम नहीं करता है.
इनका एक बेटा है -राहुल (19) कहानी का हीरो
हाईट -6 फिट, हस्ट पुस्ट कसरती शरीर
लंड साईज - लंबाई (8 इंच), मोटाई (3 इंच)
राहुल अपनी माँ की बहुत इज्जत करता है.उनकी पुजा करता है.
ये बहुत ही शरीफ किस्म का लड़का है, लेकिन सेक्स के मामले मे एकदम हरामी है. ये सेक्स मे ज्यादा ध्यान देता है.
ये अपने घर की औरतो को चोदना चाहता है,
क्या ये चोद पायेगा, किस किस को चोट पायेगा, देखते है कहानी मे -
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Re: सबका लाडला (फैमिली स्टोरी )
चारो परिवारों का गाय भैंस रखने बांधने का बाडा़ एक ही है.इसमे सभी के अलग अलग मकान बने हुए है
# राहुल का परिवार गाय भैस नहीं रखता है
सुबह का समय
राहुल का कमरा-
सुमन (माँ )- राहुल बेटा उठ जा, देख कितनी देर हो गई है. हमे मामा के घर भी जाना है ना तेरे नाना की तबीयत पुछने
राहुल- मा मुझे नींद आ रही है, आप और पापा ही चले जाओ, कुछ समय बाद उठ जाउंगा
मा - ठिक है बेटा लेकिन न तु जल्दी उठ जाना
सुमन बाहर आ जाती है
सुमन (मन मे)- ये राहुल खुद से तो उठेगा नहीं. संगीता को बोल देती हू वो उठा देगी
सुमन- अरे ओ संगीता कहां पर हो
संगीता - हा चाची यही पर हू, क्या हुआ.
सुमन - मै राहुल के नाना को देखने जा रही हू. राहुल सो रहा है तो तु उसे कुछ समय में उठा देना
संगीता -ठीक है चाची उठा दुंगी
सुबह का समय है सभी लोग इस समय खेत पर काम कर रहे होते है.
संगीता भी चारा लाने वही जाने वाली होती है
कुछ समय पश्चात
संगीता(मन मे) - आज तो लेट हो गई है खेत जाने मे. राहुल को उठाकर सीधे ही चली जाती हू
तभी एक आवाज आती है - मुन्नी देवी की
मुन्नी देवी की उम्र 80 से ज्यादा होने पर भी वो तंदुरस्त थी. जिसकी है कि जवानी मे बहुत देशी घी खाया है उन्होनें
मुन्नी देवी - संगीता बहु क्या कर हो
संगीता (मन मे)- आ गई बुढ़िया
संगीता - कुछ नहीं दादी राहुल को उठाने जा रही हू फिर खेत मे जाउगी. आज लेट हो गई
मुन्नी देवी- राहुल को मै उठा दूगी, तु जा
संगीता - ठीक है दादी
राहुल के कमरे मे
राहुल चढ़ी बनियान मे सो रहा था. उसका लंड एकदम टाईम फुला हुआ था. जिससे उसका सुपाडा़ बाहर निकला हुआ था
मुन्नी देवी की नजर उस पर पड़ती है
मुन्नी देवी -हाय राम ये क्या है इतना बड़ा लंड, इतनी उम्र मे ही इसका लंड इतना बड़ा हो गया.
जिसको भी ये मिलेगा उसके तो मजे है
मुन्नी देवी (मन मे)- क्यो ना इसे मै ले लु
अन्तरात्मा - नही ये गलत है, ये तेरा पोता है तु ऐसा नहीं कर सकती.
मुन्नी देवी- पोता हुआ तो क्या हुआ, चित और लंड मे बस प्यार का रिश्ता होता है. राहुल पर तो मेरा हक है.
मुन्नी देवी राहुल के लंड को हाथ लगाती है, उसे झटका लगता है
मुन्नी देवी - हाय दैया कितना गरम है इसका लंड जैसे भट्टी से निकाला हो अभी.
मुन्नी के हाथ लगाने से राज की नींद खुल जाती है लेकिन वो सोने का नाटक करता है. वो देखना चाहता है कि उसकी दादी कितनी आगे जा सकती है.
मुन्नी देवी धीरे धीरे लंड को ऊपर नीचे करने लगती है
राहुल के लिए मुश्किल हो जाता है और वो उठ जाता है.
जिससे मुन्नी देवी घबरा जाती है.
राहुल(भोलेपन का नाटक करते हुए )-दादी आप ये मेरी नुन्नी के साथ क्या कर रही है.
राहुल की बात सुनकर मुन्नी देवी शांत हो जाती है, वो सोचती है कि राहुल को कुछ पता ही नहीं है.
क्यो ना मै राहुल का फायदा उठाउ जिससे उसका लंड मुझे मिल जायेगा.
मुन्नी (नाटक करते हुए )- बेटा मै तेरी नुन्नी को देख रही थी, देख ये कैसे फुटकर मोटी हो गई है. कही इसमे जहर तो नहीं फैल गया.
राहुल(नाटक करते हुए )- जहर! अब क्या होगा दादी.
मुन्नी - तु घबरा मत बेटा मै हू ना, मै निकाल दुंगी.
तु एक काम कर अपनी चढी निकाल कर बेड पर लेट जा.
राहुल लेट जाता है
मुन्नी राहुल के लंड को अपने दोनो हाथों मे पकड़कर अपने मुँह के पास लाती है.
मुन्नी लंड को आधा मुँह मे लेती है, जिससे राज को बहुत मजा आता है, वो जोर से आहहह.. करता है.
राहुल - दादी आप ये क्या कर रही है
मुन्नी - बेटा जहर निकाल रही हू, तु लेटा रह.
राहुल ठिक दादी
मुन्नी धीरे धीरे अपनी रफ्तार बढाने कहती है जिससे राहुल की हालत खराब होने लगती है.
मुन्नी एक हाथ से अपने ब्लाउज के दो बटन खोल लेती है जिससे उसके बडे़ -बड़े बोबे लगभग बाहर आ जाते है. मुन्नी एक हाथ से उनको जोर जोर से दबाने भींचने लगती है. लंड चुसना और बोबो को दबाने से उसे दुगुना मजा आता है
राहुल भी नीचे से धक्के लगाने लगता है.
राहुल झरने के करीब होता है, वो मुन्नी के सिर को पकड़कर जोर जोर से धक्के मारने लगता है, जिससे मुन्नी की हालत खराब होने लगती है. उसे दर्द होने लगता है.
राहुल मुन्नी के सिर को अपने लंड पर दबा देता है और जोर जोर से 4-5 गरम पिचकारी मारता है.
वीर्य मुन्नी के पेट मे चला जाता है, कुछ उसके मुँह सेबाहर आ जाता है.
राहुल बेड पर लेट जाता है. मुन्नी का बढा शरीर भी थक जाता है और मुन्नी भी निढाल होकर बेड पर गिर जाती है.
मुन्नी - ये क्या किया बेटा, कोई करता है क्या ऐसे. कितना दर्द हो रहा है मुझे
राहुल(भोला बनते हुए )-दादी मुझे पता ही नहीं चला ये सब कैसे हो गया. मुझे माफ कर दो
मुन्नी भी राहुल से घुसा नहीं थी उसे भी मजा आया था गरम वीर्य पीकर.
मुन्नी - कोई बात नहीं बेटा ऐसा हो जाता है.
लेकिन तु ये बात किसी को बताना मत
राहुल - क्यो दादी
मुन्नी - मै बोल रही हू ना बेटा, किसी को इस बात का पता नहीं चलना चाहिए, खा मेरी कसम
राहुल -ठिक है दादी
# राहुल का परिवार गाय भैस नहीं रखता है
सुबह का समय
राहुल का कमरा-
सुमन (माँ )- राहुल बेटा उठ जा, देख कितनी देर हो गई है. हमे मामा के घर भी जाना है ना तेरे नाना की तबीयत पुछने
राहुल- मा मुझे नींद आ रही है, आप और पापा ही चले जाओ, कुछ समय बाद उठ जाउंगा
मा - ठिक है बेटा लेकिन न तु जल्दी उठ जाना
सुमन बाहर आ जाती है
सुमन (मन मे)- ये राहुल खुद से तो उठेगा नहीं. संगीता को बोल देती हू वो उठा देगी
सुमन- अरे ओ संगीता कहां पर हो
संगीता - हा चाची यही पर हू, क्या हुआ.
सुमन - मै राहुल के नाना को देखने जा रही हू. राहुल सो रहा है तो तु उसे कुछ समय में उठा देना
संगीता -ठीक है चाची उठा दुंगी
सुबह का समय है सभी लोग इस समय खेत पर काम कर रहे होते है.
संगीता भी चारा लाने वही जाने वाली होती है
कुछ समय पश्चात
संगीता(मन मे) - आज तो लेट हो गई है खेत जाने मे. राहुल को उठाकर सीधे ही चली जाती हू
तभी एक आवाज आती है - मुन्नी देवी की
मुन्नी देवी की उम्र 80 से ज्यादा होने पर भी वो तंदुरस्त थी. जिसकी है कि जवानी मे बहुत देशी घी खाया है उन्होनें
मुन्नी देवी - संगीता बहु क्या कर हो
संगीता (मन मे)- आ गई बुढ़िया
संगीता - कुछ नहीं दादी राहुल को उठाने जा रही हू फिर खेत मे जाउगी. आज लेट हो गई
मुन्नी देवी- राहुल को मै उठा दूगी, तु जा
संगीता - ठीक है दादी
राहुल के कमरे मे
राहुल चढ़ी बनियान मे सो रहा था. उसका लंड एकदम टाईम फुला हुआ था. जिससे उसका सुपाडा़ बाहर निकला हुआ था
मुन्नी देवी की नजर उस पर पड़ती है
मुन्नी देवी -हाय राम ये क्या है इतना बड़ा लंड, इतनी उम्र मे ही इसका लंड इतना बड़ा हो गया.
जिसको भी ये मिलेगा उसके तो मजे है
मुन्नी देवी (मन मे)- क्यो ना इसे मै ले लु
अन्तरात्मा - नही ये गलत है, ये तेरा पोता है तु ऐसा नहीं कर सकती.
मुन्नी देवी- पोता हुआ तो क्या हुआ, चित और लंड मे बस प्यार का रिश्ता होता है. राहुल पर तो मेरा हक है.
मुन्नी देवी राहुल के लंड को हाथ लगाती है, उसे झटका लगता है
मुन्नी देवी - हाय दैया कितना गरम है इसका लंड जैसे भट्टी से निकाला हो अभी.
मुन्नी के हाथ लगाने से राज की नींद खुल जाती है लेकिन वो सोने का नाटक करता है. वो देखना चाहता है कि उसकी दादी कितनी आगे जा सकती है.
मुन्नी देवी धीरे धीरे लंड को ऊपर नीचे करने लगती है
राहुल के लिए मुश्किल हो जाता है और वो उठ जाता है.
जिससे मुन्नी देवी घबरा जाती है.
राहुल(भोलेपन का नाटक करते हुए )-दादी आप ये मेरी नुन्नी के साथ क्या कर रही है.
राहुल की बात सुनकर मुन्नी देवी शांत हो जाती है, वो सोचती है कि राहुल को कुछ पता ही नहीं है.
क्यो ना मै राहुल का फायदा उठाउ जिससे उसका लंड मुझे मिल जायेगा.
मुन्नी (नाटक करते हुए )- बेटा मै तेरी नुन्नी को देख रही थी, देख ये कैसे फुटकर मोटी हो गई है. कही इसमे जहर तो नहीं फैल गया.
राहुल(नाटक करते हुए )- जहर! अब क्या होगा दादी.
मुन्नी - तु घबरा मत बेटा मै हू ना, मै निकाल दुंगी.
तु एक काम कर अपनी चढी निकाल कर बेड पर लेट जा.
राहुल लेट जाता है
मुन्नी राहुल के लंड को अपने दोनो हाथों मे पकड़कर अपने मुँह के पास लाती है.
मुन्नी लंड को आधा मुँह मे लेती है, जिससे राज को बहुत मजा आता है, वो जोर से आहहह.. करता है.
राहुल - दादी आप ये क्या कर रही है
मुन्नी - बेटा जहर निकाल रही हू, तु लेटा रह.
राहुल ठिक दादी
मुन्नी धीरे धीरे अपनी रफ्तार बढाने कहती है जिससे राहुल की हालत खराब होने लगती है.
मुन्नी एक हाथ से अपने ब्लाउज के दो बटन खोल लेती है जिससे उसके बडे़ -बड़े बोबे लगभग बाहर आ जाते है. मुन्नी एक हाथ से उनको जोर जोर से दबाने भींचने लगती है. लंड चुसना और बोबो को दबाने से उसे दुगुना मजा आता है
राहुल भी नीचे से धक्के लगाने लगता है.
राहुल झरने के करीब होता है, वो मुन्नी के सिर को पकड़कर जोर जोर से धक्के मारने लगता है, जिससे मुन्नी की हालत खराब होने लगती है. उसे दर्द होने लगता है.
राहुल मुन्नी के सिर को अपने लंड पर दबा देता है और जोर जोर से 4-5 गरम पिचकारी मारता है.
वीर्य मुन्नी के पेट मे चला जाता है, कुछ उसके मुँह सेबाहर आ जाता है.
राहुल बेड पर लेट जाता है. मुन्नी का बढा शरीर भी थक जाता है और मुन्नी भी निढाल होकर बेड पर गिर जाती है.
मुन्नी - ये क्या किया बेटा, कोई करता है क्या ऐसे. कितना दर्द हो रहा है मुझे
राहुल(भोला बनते हुए )-दादी मुझे पता ही नहीं चला ये सब कैसे हो गया. मुझे माफ कर दो
मुन्नी भी राहुल से घुसा नहीं थी उसे भी मजा आया था गरम वीर्य पीकर.
मुन्नी - कोई बात नहीं बेटा ऐसा हो जाता है.
लेकिन तु ये बात किसी को बताना मत
राहुल - क्यो दादी
मुन्नी - मै बोल रही हू ना बेटा, किसी को इस बात का पता नहीं चलना चाहिए, खा मेरी कसम
राहुल -ठिक है दादी
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Re: सबका लाडला (फैमिली स्टोरी )
तभी राहुल की नजर अपनी दादी की मोटी मोटी चुचियो पर पडती है.
मुन्नी अपने पोते को अपनी चूचियां घुमते हुए देखती है, उसे अच्छा लगता है.
मुन्नी - क्या देख रहे हो बेटे.
राहुल भी खुलकर बोलता है
राहुल - दादी आपकी चुचियो को. आपकी चुंची कितनी बडी और अच्छी है.
मुन्नी - बेटा तुझे अच्छी लगी.
राहुल - हा!, दादी क्या मै इनको छु सकता हू
मुन्नी - हा बेटा छु सकता है. अब ये तेरी ही है. तु जो चाहे वो कर सकता है इनके साथ.
राहुल - जो चाहे वो कर सकता हू.
मुन्नी हँसते हुए -हा बेटा
राहुल- दादी मै इनको मुंह मे लेकर पी सकता हू.
मुन्नी -बेटा इनमें दूध नही आता है अब.
राहुल - दादी मुझे फिर भी पिनी है.
मुन्नी अपना ब्लाउज निकालकर बेड पर लेट जाती है.
मुन्नी- ले बेटा जितना चाहे उतना पी ले, आराम से पी. तु ही है इनका मालिक अब.
राहुल अपनी दादी के ऊपर आ जाता है और उसके घुटने के आगे पैरो पर बैठ जाता है. राहुल नीचे झुककर अपनी दादी के दोनो बोबो को धीर धरे मासलने लगता है.
जिससे मुन्नी का बुढ़ा बोसडा़ भी पानी छोडने लगता है.
नीचे झुकने के कारण राहुल का लंड मुन्नी की चुप ठोकर मारने लगता है, जिससे मुन्नी उतेजित हो जाती है, और राज के मुह को अपनी चुची पर रख देती है.
मुन्नी - आह.. बेटा ले पिले अपनी दादी की चुचियो को, निचोड़ डाल इनको चुस चुस कर.
राहुल एक चुची को मुह मे लेता है और एक को अपने पंजे मे बेच लेता है.
मुन्नी(चिलाते हुए )- आह बेटा थोड़ा धीरे कर
राहुल कुछ नहीं सुनता, वो एक चुची को जोर जोर से भींचने लगता है और एक चुची के निप्पल को दाँतों से काटने लगता है.
मुन्नी को दर्द से ज्यादा मजा आ रहा था.
मुन्नी एक हाथ अपनी चुत पर ले जाती है और जोर जोर से अपनी चुप को रगड़ने लगती है.
मुन्नी - आह.. आह.. हा बेटा ऐसे ही चुसआआता.. आ..आ.. रह अपनी दादी के चुचो को,
ओह बेटा.. आह... थोडा धीरे चुस ना इतनी जोर से मत काट.
राहुल कुछ नही बोलता और जोर जोर से काटने चुनने लगता है, जिससे मुन्नी की हालत खराब हो जाती है.
मुन्नी राहुल के लंड को अपने कपड़ों के ऊपर से ही अपनी चुत पर घिसने लगती है.
मुन्नी - आह.. बेटा ऐसे ही.. हा और जोर से आह..आह..आह..
मुन्नी इस दोहरे मजे से चलाते हुए झरने लगती है.
अपने दोनो हाथों से राहुल को भींच लेती है और उसे अपने सीने से चिपका लेती है
मुन्नी अपने पोते को अपनी चूचियां घुमते हुए देखती है, उसे अच्छा लगता है.
मुन्नी - क्या देख रहे हो बेटे.
राहुल भी खुलकर बोलता है
राहुल - दादी आपकी चुचियो को. आपकी चुंची कितनी बडी और अच्छी है.
मुन्नी - बेटा तुझे अच्छी लगी.
राहुल - हा!, दादी क्या मै इनको छु सकता हू
मुन्नी - हा बेटा छु सकता है. अब ये तेरी ही है. तु जो चाहे वो कर सकता है इनके साथ.
राहुल - जो चाहे वो कर सकता हू.
मुन्नी हँसते हुए -हा बेटा
राहुल- दादी मै इनको मुंह मे लेकर पी सकता हू.
मुन्नी -बेटा इनमें दूध नही आता है अब.
राहुल - दादी मुझे फिर भी पिनी है.
मुन्नी अपना ब्लाउज निकालकर बेड पर लेट जाती है.
मुन्नी- ले बेटा जितना चाहे उतना पी ले, आराम से पी. तु ही है इनका मालिक अब.
राहुल अपनी दादी के ऊपर आ जाता है और उसके घुटने के आगे पैरो पर बैठ जाता है. राहुल नीचे झुककर अपनी दादी के दोनो बोबो को धीर धरे मासलने लगता है.
जिससे मुन्नी का बुढ़ा बोसडा़ भी पानी छोडने लगता है.
नीचे झुकने के कारण राहुल का लंड मुन्नी की चुप ठोकर मारने लगता है, जिससे मुन्नी उतेजित हो जाती है, और राज के मुह को अपनी चुची पर रख देती है.
मुन्नी - आह.. बेटा ले पिले अपनी दादी की चुचियो को, निचोड़ डाल इनको चुस चुस कर.
राहुल एक चुची को मुह मे लेता है और एक को अपने पंजे मे बेच लेता है.
मुन्नी(चिलाते हुए )- आह बेटा थोड़ा धीरे कर
राहुल कुछ नहीं सुनता, वो एक चुची को जोर जोर से भींचने लगता है और एक चुची के निप्पल को दाँतों से काटने लगता है.
मुन्नी को दर्द से ज्यादा मजा आ रहा था.
मुन्नी एक हाथ अपनी चुत पर ले जाती है और जोर जोर से अपनी चुप को रगड़ने लगती है.
मुन्नी - आह.. आह.. हा बेटा ऐसे ही चुसआआता.. आ..आ.. रह अपनी दादी के चुचो को,
ओह बेटा.. आह... थोडा धीरे चुस ना इतनी जोर से मत काट.
राहुल कुछ नही बोलता और जोर जोर से काटने चुनने लगता है, जिससे मुन्नी की हालत खराब हो जाती है.
मुन्नी राहुल के लंड को अपने कपड़ों के ऊपर से ही अपनी चुत पर घिसने लगती है.
मुन्नी - आह.. बेटा ऐसे ही.. हा और जोर से आह..आह..आह..
मुन्नी इस दोहरे मजे से चलाते हुए झरने लगती है.
अपने दोनो हाथों से राहुल को भींच लेती है और उसे अपने सीने से चिपका लेती है
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Re: सबका लाडला (फैमिली स्टोरी )
राहुल उत्तेजित हो जाता है उससे रहा नहीं जाता है अब
वो दादी के चेहरे को पकड़ कर उसके होठों को चुसने लगता है.
जिससे मुन्नी बुरी तरह से चौंक जाती है, वो छुटने की कोशिश करती है परंतु उसके बुढे़ शरीर मे इतनी ताकत नही है कि वो राहुल जैसे तगडे़ लडके को हटा सके.
धीरे धीरे वो भी साथ देने लगती है.
राहुल एक हाथ से अपनी मुन्नी की चुत मसलने लगता है, जिससे मुन्नी उत्तेजित हो जाती है. वो राहुल के होठों को जोर से चुसने लगती है.
जब दोनो की सासे भर जाती है तब दोनो अलग होते हैं.
मुन्नी - बेटा ये क्या कर रहा था तु. ये सब गलत है, मै तेरी दादी हू
राहुल - अच्छा दादी, ये सब बातें जब तुम मेरा लंड चुस रही थी तब याद नहीं आयी.
मुन्नी राहुल के मुँह से लंड सुनकर चौंक जाती है.
मुन्नी - ये क्या शब्द बोल रहा ह तु छी छी
राहुल - ज्यादा नाटक मत कर दादी मै सब जानता हू, तु मेरा फायदा उठाना चाहती थी.
मुन्नी - मतलब तु इतनी देर तक भोले बनने का नाटक कर रहा था.
राहुल -हा
मुन्नी(नाटक करते हुए ) - नहीं बेटा ये सब गलत है
और वो उठने लगती है
वो दादी के चेहरे को पकड़ कर उसके होठों को चुसने लगता है.
जिससे मुन्नी बुरी तरह से चौंक जाती है, वो छुटने की कोशिश करती है परंतु उसके बुढे़ शरीर मे इतनी ताकत नही है कि वो राहुल जैसे तगडे़ लडके को हटा सके.
धीरे धीरे वो भी साथ देने लगती है.
राहुल एक हाथ से अपनी मुन्नी की चुत मसलने लगता है, जिससे मुन्नी उत्तेजित हो जाती है. वो राहुल के होठों को जोर से चुसने लगती है.
जब दोनो की सासे भर जाती है तब दोनो अलग होते हैं.
मुन्नी - बेटा ये क्या कर रहा था तु. ये सब गलत है, मै तेरी दादी हू
राहुल - अच्छा दादी, ये सब बातें जब तुम मेरा लंड चुस रही थी तब याद नहीं आयी.
मुन्नी राहुल के मुँह से लंड सुनकर चौंक जाती है.
मुन्नी - ये क्या शब्द बोल रहा ह तु छी छी
राहुल - ज्यादा नाटक मत कर दादी मै सब जानता हू, तु मेरा फायदा उठाना चाहती थी.
मुन्नी - मतलब तु इतनी देर तक भोले बनने का नाटक कर रहा था.
राहुल -हा
मुन्नी(नाटक करते हुए ) - नहीं बेटा ये सब गलत है
और वो उठने लगती है
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