Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post Reply
Jemsbond
Super member
Posts: 6659
Joined: 18 Dec 2014 12:09

Re: Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post by Jemsbond »

राम रूबी को फिर से अपने नीचे लकर लेता है और खुद ऊपर आ जाता है, और रूबी के होंठों को चूमने लगता है। रूबी भी अपने हाथ रामू के सिर के बालों में फेरते हुए उसके होंठों का रसपान करती है। रामू एक हाथ से रूबी के उभारों के साथ खेलने लगता है और उसे उत्तेजित करने लगता है। इसका असर रूबी पे होने लगता है
और हल्की-हल्की सिसकियां लेने लगती है। राम अपने हाथ से जोर से रूबी के उभार पे चिकोटी काट लेता है जिससे रूबी की चीख निकल जाती है।

रूबी- आअहह... धीरेss |

रामू- क्या धीरे। खुद भी तो जोर-जोर से ऊपर-नीचे होकर चुदवा रही थी। मैंने थोड़ा सा जोर से दबा दिया तो चीख निकल गई।

रूबी- मैंने कब चुदवाया? तुमने चोदा।

रामू- अभी तक तो तुम खुद ही मेरे ऊपर आकर खुद को चुदवा रही थी। मैंने तो कुछ किया ही नहीं अभी तक।

रूबी- जब तुम्हारा लण्ड मेरी चूत में चला गया तो चुदाई तो हो ही गई ना। क्या फर्क पड़ता है ऊपर कौन और नीचे कौन?

रामू- हाँ वो तो ठीक है, पर मैंने तो अपना जोर लगाया ही नहीं अभी तक। अभी तो मेरे लण्ड ने तुम्हारी चूत को रगड़ा ही नहीं अच्छे से। तब जाकर काम खतम होगा।

रूबी- अच्छा जी। मेरे राजा काम खतम कब करेगा?

राम- जब मेरी रानी बोलेगी।

रूबी- मैंने कब मना किया है? तुम ही तड़पा रहे हो अपनी रानी को।

रामू- तो फिर चोद देते हैं रानी को। तुम्हारी चूत में अपना वीर्य डालकर तुम्हें पूरी तरह अपनी बना लेते हैं।

रूबी- अरे नहीं, प्लीज अंदर मत झड़ना।

रामू- क्या हुआ?

रूबी- कुछ हो गया तो?

रामू- कुछ नहीं होता। सुरक्षित नहीं है क्या अभी?

रूबी- नहीं वो बात नहीं है, पर फिर भी डर लगता है। बाहर ही झड़ना।

रामू- मेरी रानी मिलन तो तब ही संपूर्ण माना जाता है जब मर्द अपना वीर्य औरत के अंदर उड़ेले। हम तो पूर्ण मिलन चाहते हैं। अपने वीर्य से आपकी चूत की जनम जनम की प्यास बुझाना चाहते हैं।

इधर रूबी पूरी तरह से गरम हो गई थी और अपनी कमर हिलाने लगती है जिससे राम को ग्रीन सिग्नल मिलता है और वो भी अपनी कमर धीरे-धीरे हिलाने लगता है। रूबी को अपने अंदर लण्ड अंदर-बाहर होता महसूस होने लगता है।

चूत ने लण्ड पे पूरी तरह पकड़ बना रखी थी। रूबी अपने हाथ रामू की पीठ पे लेजाकर उसे सहलाने लगती है

और रामू रूबी के होंठों को चूस रहा था। ऊपर से रामू रूबी के गुलाबी होंठों का रसपान कर रहा था और नीचे लण्ड चूत का रसपान कर रहा था। रूबी हल्की-हल्की सिसकियां लेना शुरू कर देती है।

रूबी- “हाँ हाँ हमम्म... ऊह्ह.."

राम- मजा आ रहा है ना?

रूबी- “हाँ। उफफ्फ.."

रामू- कहाँ तक जा रहा है?

रूबी- बहुत अंदर तक।

रामू लण्ड को बाहर निकालकर जोर से धक्का लगाता है और लण्ड पूरा चूत में घुस जाता है।
प्यास बुझाई नौकर से Running....कीमत वसूल Running....3-महाकाली ....1-- जथूराcomplete ....2-पोतेबाबाcomplete
बन्धन
*****************
दिल से दिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
तुफानो में साहिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
यूँ तो मिल जाता है हर कोई!
मगर आप जैसे दोस्त नसीब वालों को मिलते हैं!
*****************
Jemsbond
Super member
Posts: 6659
Joined: 18 Dec 2014 12:09

Re: Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post by Jemsbond »

(^%$^-1rs((7)
प्यास बुझाई नौकर से Running....कीमत वसूल Running....3-महाकाली ....1-- जथूराcomplete ....2-पोतेबाबाcomplete
बन्धन
*****************
दिल से दिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
तुफानो में साहिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
यूँ तो मिल जाता है हर कोई!
मगर आप जैसे दोस्त नसीब वालों को मिलते हैं!
*****************
Jemsbond
Super member
Posts: 6659
Joined: 18 Dec 2014 12:09

Re: Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post by Jemsbond »

रामू लण्ड को बाहर निकालकर जोर से धक्का लगाता है और लण्ड पूरा चूत में घुस जाता है।

जिससे रूबी पूरी तरह हिल जाती है- “आअहह... कितने बेरहम हो। धीरे से करो ना.."

राम- “रहा नहीं जाता बीच-बीच में। वैसे भी चूत को लण्ड के लिए पूरी तरह तैयार कर रहे हैं। अब तो रोजाना चोदने को मिलेगी..."

रूबी- हँसते हुए- “ऐसे क्यों लगता है? सपने लेना छोड़ दो.."

रामू- तो क्या दुबारा नहीं चुदवाओगी?

रूबी- क्यों? मैं क्य

रामू- क्यों अच्छा नहीं लग रहा क्या?

रूबी- लग रहा है। बहुत अच्छा लग रहा है।

रामू- तो फिर दुबारा चुदवाने से क्यों मना कर रही हो। आजतक तो किसी औरत ने मुझे दुबरा ना नहीं बोला।

रूबी- अच्छा जी... इतना बड़ा लण्ड शायद उन्हें भा गया हो?


राम- “तो मेरी रानी को नहीं भाया?" और जोर का झटका लगाता है।

रूबी- आहह... धीरे।

रामू- बताओ ना... नहीं भाया?

रूबी- बहुत भाया है।

राम- तो फिर? अगली बार के लिए मना क्यों कर रही हो मेरी जान?

रूबी- पता नहीं। शायद वैसे ही।

राम- तो नहीं चाहिए तो छोड़कर चले जाएं ऐसे ही।

रूबी- जा सकते हो?

राम- “आजमा के देख लो...' फिर दोनों एक दूसरे की आँखों में देखते हैं और रामू अपने धक्के लगाना बंद कर देता है पर रूबी अपनी कमर हिलाती रहती है।

कुछ देर बाद रामू उठने की कोशिश करता है और रूबी उसकी दोनों बाहों को पकड़ लेती है।

रामू- क्या हुआ? अभी तो बोलती थी के दुबारा नहीं करेंगे।

रूबी- मजाक कर रही थी बाबा।

रामू- तो फिर क्या चाहती हो?
प्यास बुझाई नौकर से Running....कीमत वसूल Running....3-महाकाली ....1-- जथूराcomplete ....2-पोतेबाबाcomplete
बन्धन
*****************
दिल से दिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
तुफानो में साहिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
यूँ तो मिल जाता है हर कोई!
मगर आप जैसे दोस्त नसीब वालों को मिलते हैं!
*****************
Jemsbond
Super member
Posts: 6659
Joined: 18 Dec 2014 12:09

Re: Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post by Jemsbond »

रूबी- बस यही की मुझे सारी उमर बस ऐसे ही चोदते रहो। मेरी चूत जो तुम्हारे लण्ड के लिए इतने दिनों से तड़प रही थी, उसे शांत कर दो। इस सुखी जमीन को अपने पानी से तरबबतर कर दो। हमें औरत होने का असली मतलब समझाओ।

राम फिर से जोर का धक्का लगाता है तो रूबी की चीख निकल जाती है। रूबी उसके होंठों को चूमने लगती है।

राम- कभी छोड़कर तो नहीं जाओगी?

रूबी- मैं क्यों अपने राजा को छोड़ने लगी?

राम- सच में बताओ जितना आनंद तुम्हें आज आ रहा है कभी मालिक के साथ आया?

रूबी- नहीं कभी नहीं। तुम तो झड़ने का नाम ही नहीं ले रहे हो। बुरी तरह से चूत को फैला रखा है तुम्हारे लण्ड ने। मैं तो तुम्हारी दीवानी

राम अपने धक्के थोड़े से तेज कर देता है। रूबी अपनी बाहों से उसकी गर्दन पे घेरा बना लेती है और नीचे से कमर हिलाने लगती है। अब चत थोड़ी सी खल गई थी और राम का लण्ड आसानी से अंदर-बाहर हो रहा था। कुछ देर बाद रूबी अपनी टांगों से राम की कमर को घेरा बना लेती है और चूतर उठा-उठा के लण्ड चूत में लेने लगती है। अपनी बाहें रामू के गर्दन में डाले रूबी खूबसूरत पलों का मजा ले रही थी।

राम अपनी स्पीड थोड़ी सी और बढ़ा लेता है। उसका लण्ड जब चूत से बाहर निकलकर अंदर जाता है तो रूबी की चूत के पानी से भीगे लण्ड की टक्कर से फच-फच। जैसी आवाजें आने लगती है।

रामू रूबी को छेड़ते हुए- “यह आवाजें कहां से आ रही हैं?"

रूबी- मेरी उससे।

रामू- किससे?

रूबी- चूत से?

राम- वो क्यों ऐसी आवाजें निकाल रही है?

रूबी- बेचारी को इतने अच्छे से तुम्हारा लण्ड रगड़ मार रहा है की उसका पानी निकल रहा है। जब तुम्हारा लण्ड उस पानी में गोता लगाता है तो टकराने से आवाज निकलती है।

रामू- मेरी रानी तो समझदार हो गई।

रूबी- तुमने बना दिया मेरे रज्जा उफफ्फ... तुम सच में ही एक असली मर्द हो। पूरी जिंदगी मुझे ऐसे ही चोदते रहना। उफफ्फ... मैं तुम्हारे लिए कुछ भी कर सकती हूँ। मैं अपनी जवानी का पूरा रस तुम्हें पिला दूंगी। बस सिर्फ मेरे बने रहना और तुम जैसा चाहोगे जहां चाहोगे मैं चुदवाऊँगी। बस मेरी इस प्यास को बुझा दो.."

रामू देखता है की रूबी धीरे-धीरे फिर से चरमसुख की ओर बढ़ रही थी। वो भी अब स्पीड में आ चुका था। रामू अब रूबी की टांगों को अपने कंधों पे रख लेता है। अब रूबी के चूतर हवा में उठ चुके थे। रामू का लण्ड जब पूरा चूत में घुसता तो लण्ड की गोलियां रूबी के चूतरों से सट जाती थी। रामू आगे झुकता है जिससे उसका चेहरा रूबी के चेहरे के पास आ जाता है। रूबी इस पोजीशन में रामू के पूरे कंट्रोल में थी। वो अब बिल्कुल भी नहीं हिल पा रही थी। अगर उसका शरीर हिलता भी था तो वो राम के जोरदार झटकों के कारण ही हिलता था। रूबी को लग रहा था जैसे लण्ड उसकी बच्चेदानी से टकरा रहा हो।
प्यास बुझाई नौकर से Running....कीमत वसूल Running....3-महाकाली ....1-- जथूराcomplete ....2-पोतेबाबाcomplete
बन्धन
*****************
दिल से दिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
तुफानो में साहिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
यूँ तो मिल जाता है हर कोई!
मगर आप जैसे दोस्त नसीब वालों को मिलते हैं!
*****************
Jemsbond
Super member
Posts: 6659
Joined: 18 Dec 2014 12:09

Re: Adultery प्यास बुझाई नौकर से

Post by Jemsbond »

(^%$^-1rs((7)
प्यास बुझाई नौकर से Running....कीमत वसूल Running....3-महाकाली ....1-- जथूराcomplete ....2-पोतेबाबाcomplete
बन्धन
*****************
दिल से दिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
तुफानो में साहिल बड़ी मुश्किल से मिलते हैं!
यूँ तो मिल जाता है हर कोई!
मगर आप जैसे दोस्त नसीब वालों को मिलते हैं!
*****************
Post Reply