दो तीन चक्कर कमरे के लगाने के बाद वो मुझको लेकर बेड पर आ गई, मुझको बेड पर लिटाने की कोशिश करने लगी लेकिन मुझको तो चिपको डांस में बड़ा आनन्द आ रहा था तो मैं उसको कस कर कर अपने से चिपकाये हुए घूमता रहा और 2 चक्कर के बाद ही लंड और भग की घिसाई के कारण मधु मैडम का पानी छूट गया और वो कांपती हुई मेरे गले से लिपट गई.
रूबी मैडम अब उठी और अपने उन्नत उरोजों के साथ एक गज गामिनी की तरह मेरी तरफ बढ़ी, आँखों में कामुकता की खुमारी लिए हुए वो मेरे निकट आई और मेरे सीधे तने हुए लौड़े को अपने हाथ में ले लिया और उसको चूम कर बोली- क्यों बे लंडम, तुझको अपने पर बड़ा घमंड है ना कि तुझको कोई हरा नहीं सकता? चल आ, आज मैं तेरा घमंड चूर चूर कर दूंगी साले.यह कह कर वो नीचे बैठ गई और मेरे लंड को पागलों की तरह चूमने और चूसने लगी.
उसका चुसाई का खेल कोई 10 मिन्ट चला होगा लेकिन जब लंड पर कोई असर नहीं पड़ते देख कर वो मुझको खींच कर बिस्तर पर ले गई और मुझको नीचे लिटा कर आप मेरे ऊपर चढ़ बैठी और बड़े ज़ोर की धक्काशाही शुरू कर दी.मैं मन ही मन मुस्करा रहा था क्यूंकि इस चुदाई के दौरान वो दो बार स्वयं झड़ चुकी थी लेकिन फिर भी हार नहीं मान रही थी.
मैं भी अपनी बाहें अपने सर के नीचे रख कर बड़े आलखन से रूबी के करतब देख रहा था.जब दो बार रूबी फिर छूट गई तो थक कर मेरे ऊपर पसर गई तब मधु मैडम आगे बड़ी और रूबी को हटा कर खुद मेरे लौड़े पर विराजमान हो गई.जब उसने भी सारे हथकंडे आज़मा लिए और स्वयं 3 बार पानी छोड़ गई और मेरा कुछ भी नहीं बिगाड़ सकी तो उसने भी हाथ खड़े कर दिए.
तब मधु मैडम ने कहा- उफ़्फ़ रूबी, मैं तो भूल गई सतीश राजा तो बिमारी से ग्रस्त है इस बिमारी की वजह से इसका लंड काफी देर खड़ा रह सकता है और कोई चूती इसको हरा नहीं सकती और जब यह चाहे इसका वीर्य भी छूट सकता है.रूबी बोली- मधु मैडम जी, आपको यह पहले बतलाना चाहिए था ना! हम खामख्वाह इतनी मेहनत करते रहे इसका छुटाने के लिए! इस चक्कर में मेरा 4-5 बार छूट गया!
मैंने कहा- अच्छा चलो आज की सभा विसर्जित करते हैं और कल देखेंगे क्या होता है? वैसे मैडमो, आपका चिपको डांस हिट हो जाएगा अगर सेंसर बोर्ड ने पास कर दिया तो! अच्छा मुझको क्या मिलने वाला है इस डांस के लिए?
मधु मैडम बोली- तुमको क्या चाहिए सतीश यार? तुम्हारे पास तो सब कुछ है धन, मन, लन, फन और क्या चाहिए?मैं बोला- मैडम जी, मेरी जेब खर्ची के लिए पैसे चाहिए होते हैं ना! मैंने आपके लिए इतने दिन डांस किया और मुफ्त का मैनेजर बना तो उसका कुछ तो फायदा होना चाहिए ना?मधु मैडम बोली- तुम घबराओ नहीं सतीश यार, मैंने पंचोली साहिब से बात कर ली है, उन्होंने कहा है कि वो तुमको उचित मेहनताना देंगे.
मैं बहुत खुश हो गया और मैं जोश से बोला- वाह मैडम जी, चलो इसी ख़ुशी में आप दोनों को एक एक बार और चोद देता हूँ!दोनों मैडम एक साथ चिल्ला पड़ी- नहीं सतीश, तेरे लंड ने तो हमारी चूतें चोद चोद कर लाल कर दी हैं, इनको सुजा दिया है. अब दो दिन कोई लंड वंड नहीं चाहिए.
मैं हँसते हुए अपने कमरे में आ गया और लाइट जलाई तो देखा कि पर्बती मेरे बिस्तर पर सर रख कर नीचे फर्श पर बैठे ही सो गई थी.मैं अपने कपड़े बदल कर बाथरूम से बाहर निकला और उसको हल्के से जगाया और जब वो जगी तो मैंने उसको उठा कर उसकी धोती इत्यादि उतार कर पूरी नंगी कर दिया और स्वयं भी नंगा हो गया और उसको लेकर अपने बेड में लेट गया.
पर्बती का शरीर एकदम फ्रेश और जवान था क्यूंकि उसकी उम्र भी ज़्यादा नहीं थी और उसकी शादी में चुदाई भी बहुत कम हुई थी तो उसको चोदने का अपना ही कुछ अलग आनन्द था.मैं उसके लबों को चूमने के बाद उसके गोल गुदाज़ मुम्मों को चूसने लगा और उसकी मोटी चूचियों को मुंह में रख कर गोल गोल घुमाना मुझको बहुत ही अच्छा लगता था.
Adultery मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
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Re: मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
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Re: मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
साथ साथ मैं उसकी बालों भरी चूत के अंदर छुपी भग को भी हल्के से मसल रहा था और इस तरह कुछ ही समय में वो मुझको अपने ऊपर आने का न्योता देने लगी और मैंने उसको फ़ौरन घोड़ी बना कर चोदना शुरू कर दिया.
क्यूंकि पर्बती काफी अरसे से नहीं चुदी थी तो वो पहली बार बड़ी जल्दी ही झड़ गई लेकिन मैं आज उसको पूरा काम सुख देना चाहता था. मैंने उसको लिटा कर और स्वयं भी लेट कर उसके पीछे से अपना लंड उसकी फूली चूत में डाल दिया और फिर आहिस्ता चुदाई का माहोल बना दिया. जिसमें दोनों प्रतिद्वंदी बड़े आलखन से एक दूसरे को काम सुख प्रदान करते हैं.
इस पोज़ के बाद मैंने पर्बती को अपने ऊपर बिठा लिया और वो ऊपर से मुझको चोदने लगी.क्यूंकि ऊपर वाले पोज़ में चुदाई की लगाम औरत के हाथ में होती है, वो जैसे चाहे जिस स्पीड से चाहे अपने आदमी को चोद सकती है और स्वयं पूरा आनन्द ले सकती है.पर्बती मुझ को आनंद से चोद रही थी और अभी तक कुल मिला कर 5-6 बार छूट जाने के कारण पूरी तरह से तृप्त और संतुष्ट हो चुकी थी लेकिन फिर भी वो अभी भी वो मुझ को ऊपर से पूरे जोश से चोद ही रही थी कि जाने कब मैं गहरी नींद में सो गया.
सुबह उठा तो पर्बती जा चुकी थी और मेरे रात के कपड़े भी मुझको पहना गई थी.थोड़ी देर बाद नैना मेरे लिए चाय लेकर आई और हम दोनों ने मिल कर चाय पी. उसने बताया कि मम्मी पापा सुबह जल्दी चले गए थे.मैंने नैना से पूछा- शूटिंग कब तक चलेगी? मेरे कॉलेज वापस जाने के दिन भी नज़दीक आ रहे हैं.नैना बोली- मेरे ख्याल से 3-4 दिन और चलेगी शायद.मैं बोला- नैना, तुम सारे खर्चे का हिसाब रूबी मैडम से कर रही हो ना? जितना भी दुकान वाले का हिसाब है वो साथ ही साथ निबटा दिया करो, नहीं तो बाद में सारा खर्च हम पर आ जाएगा.
नाश्ते के टेबल पर रूबी और मधु मैडम भी मिल गई और उन्होंने बताया कि आज कोई खास प्रोग्राम नहीं है शूटिंग का सो सब फ्री हैं जैसा चाहें वो कर सकते हैं.मधु मैडम ने मुझसे पूछा- सतीश, यहाँ कुछ ख़ास चीज़ है देखने के लिए?मैं बोला- कोई खास जगह या चीज़ तो नहीं है देखने के लिए यहाँ पर अगर आपकी मर्ज़ी हो तो हमारा घोड़ों का स्टड फार्म है यहाँ जो शायद आप देखना चाहें?
मधु मैडम बोली- स्टड फार्म क्या होता है?मैं बोला- यहाँ हमारे फार्म में घोड़े और घोड़ियाँ पाले जाते हैं और कई दूसरी ज़मींदार अपनी घोड़ियों को हरा करवाने भी आते हैं.मधु मैडम बोली- घोड़ियों को हरा कैसे किया जाता है? कभी देखा नहीं.मैं बोला- पापा ने कुछ ख़ास नसल के घोड़े पाले हुए हैं जो सिर्फ घोड़ियों के साथ सेक्स करके उनके बच्चे पैदा करना का काम करते हैं.मधु और रूबी मैडम दोनों साथ ही बोली- अच्छा एनिमल सेक्स? क्या हम देख सकते हैं? पहले कभी देखा नहीं.मैंने कहा- हाँ, देख सकते है लेकिन पहले मुझको कन्फर्म करने दो अपने स्टड फार्म मास्टर से कि कोई घोड़ी आई हुई है हरी होने के लिए!
मैंने लखन सिंह को पुछवा लिया और उसने बताया कि आज दो बाहर की घोड़ियों को हरा करना है और एक अपने फार्म की घोड़ी को भी हरा करना है और उसने कहा कि आप मेहमानों को ला सकते हैं यह दिखाने के लिए!
मैंने सब मैडमों को बता दिया और उन्होंने फैसला लिया कि वो सब डांसर्स को ले जाएंगी यह खेल दिखाने के लिए!कॉटेज में लड़कियों से बात हो गई और वो सब यह देखने के लिए बहुत अधिक इच्छुक थीं.
कहानी जारी रहेगी.
क्यूंकि पर्बती काफी अरसे से नहीं चुदी थी तो वो पहली बार बड़ी जल्दी ही झड़ गई लेकिन मैं आज उसको पूरा काम सुख देना चाहता था. मैंने उसको लिटा कर और स्वयं भी लेट कर उसके पीछे से अपना लंड उसकी फूली चूत में डाल दिया और फिर आहिस्ता चुदाई का माहोल बना दिया. जिसमें दोनों प्रतिद्वंदी बड़े आलखन से एक दूसरे को काम सुख प्रदान करते हैं.
इस पोज़ के बाद मैंने पर्बती को अपने ऊपर बिठा लिया और वो ऊपर से मुझको चोदने लगी.क्यूंकि ऊपर वाले पोज़ में चुदाई की लगाम औरत के हाथ में होती है, वो जैसे चाहे जिस स्पीड से चाहे अपने आदमी को चोद सकती है और स्वयं पूरा आनन्द ले सकती है.पर्बती मुझ को आनंद से चोद रही थी और अभी तक कुल मिला कर 5-6 बार छूट जाने के कारण पूरी तरह से तृप्त और संतुष्ट हो चुकी थी लेकिन फिर भी वो अभी भी वो मुझ को ऊपर से पूरे जोश से चोद ही रही थी कि जाने कब मैं गहरी नींद में सो गया.
सुबह उठा तो पर्बती जा चुकी थी और मेरे रात के कपड़े भी मुझको पहना गई थी.थोड़ी देर बाद नैना मेरे लिए चाय लेकर आई और हम दोनों ने मिल कर चाय पी. उसने बताया कि मम्मी पापा सुबह जल्दी चले गए थे.मैंने नैना से पूछा- शूटिंग कब तक चलेगी? मेरे कॉलेज वापस जाने के दिन भी नज़दीक आ रहे हैं.नैना बोली- मेरे ख्याल से 3-4 दिन और चलेगी शायद.मैं बोला- नैना, तुम सारे खर्चे का हिसाब रूबी मैडम से कर रही हो ना? जितना भी दुकान वाले का हिसाब है वो साथ ही साथ निबटा दिया करो, नहीं तो बाद में सारा खर्च हम पर आ जाएगा.
नाश्ते के टेबल पर रूबी और मधु मैडम भी मिल गई और उन्होंने बताया कि आज कोई खास प्रोग्राम नहीं है शूटिंग का सो सब फ्री हैं जैसा चाहें वो कर सकते हैं.मधु मैडम ने मुझसे पूछा- सतीश, यहाँ कुछ ख़ास चीज़ है देखने के लिए?मैं बोला- कोई खास जगह या चीज़ तो नहीं है देखने के लिए यहाँ पर अगर आपकी मर्ज़ी हो तो हमारा घोड़ों का स्टड फार्म है यहाँ जो शायद आप देखना चाहें?
मधु मैडम बोली- स्टड फार्म क्या होता है?मैं बोला- यहाँ हमारे फार्म में घोड़े और घोड़ियाँ पाले जाते हैं और कई दूसरी ज़मींदार अपनी घोड़ियों को हरा करवाने भी आते हैं.मधु मैडम बोली- घोड़ियों को हरा कैसे किया जाता है? कभी देखा नहीं.मैं बोला- पापा ने कुछ ख़ास नसल के घोड़े पाले हुए हैं जो सिर्फ घोड़ियों के साथ सेक्स करके उनके बच्चे पैदा करना का काम करते हैं.मधु और रूबी मैडम दोनों साथ ही बोली- अच्छा एनिमल सेक्स? क्या हम देख सकते हैं? पहले कभी देखा नहीं.मैंने कहा- हाँ, देख सकते है लेकिन पहले मुझको कन्फर्म करने दो अपने स्टड फार्म मास्टर से कि कोई घोड़ी आई हुई है हरी होने के लिए!
मैंने लखन सिंह को पुछवा लिया और उसने बताया कि आज दो बाहर की घोड़ियों को हरा करना है और एक अपने फार्म की घोड़ी को भी हरा करना है और उसने कहा कि आप मेहमानों को ला सकते हैं यह दिखाने के लिए!
मैंने सब मैडमों को बता दिया और उन्होंने फैसला लिया कि वो सब डांसर्स को ले जाएंगी यह खेल दिखाने के लिए!कॉटेज में लड़कियों से बात हो गई और वो सब यह देखने के लिए बहुत अधिक इच्छुक थीं.
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Re: मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
बहुत ही बढ़िया अपडेट..
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Re: मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
मेरी नशीली चितवन Running.....मेरी कामुकता का सफ़र Running.....गहरी साजिश Running.....काली घटा/ गुलशन नन्दा ..... तब से अब तक और आगे .....Chudasi (चुदासी ) ....पनौती (थ्रिलर) .....आशा (सामाजिक उपन्यास)complete .....लज़्ज़त का एहसास (मिसेस नादिरा ) चुदने को बेताब पड़ोसन .....आशा...(एक ड्रीमलेडी ).....Tu Hi Tu
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Re: मेरा सुहाना सफर-कुछ पुरानी यादें
बढ़िया अपडेट के लिए बहुत बहुत धन्यवाद
अगले अपडेट का इंतज़ार रहेगा
अगले अपडेट का इंतज़ार रहेगा
मांगलिक बहन....एक अधूरी प्यास- 2....Incest सपना-या-हकीकत.... Thriller कागज की किश्ती....फोरेस्ट आफिसर....रंगीन रातों की कहानियाँ....The Innocent Wife ( मासूम बीवी )....Nakhara chadhti jawani da (नखरा चढती जवानी दा ).....फिर बाजी पाजेब Running.....जंगल में लाश Running.....Jalan (जलन ).....Do Sage MadarChod (दो सगे मादरचोद ).....अँधा प्यार या अंधी वासना ek Family ki Kahani...A family Incest Saga- Sarjoo ki incest story).... धड़कन...